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काशी में शम्भू शम्भू नमामि शम्भू का उद्घोष


काशी शिव जी की नगरी है। कार्तिक पूर्णिमा के दीपोत्सव में देवता भी सहभागी होते है। इसीलिए यह देव दीपावली के रूप में प्रतिष्ठित है। योगी आदित्यनाथ के प्रयासों से अयोध्या में त्रेता युग के दीपोत्सव की झलक दिखाई दी थी,उसी प्रकार देव दीपावली भी दिव्य और भव्य बन गई। गंगा जी के किनारे अनेक घाट अद्भुत प्रकाश से दैदीप्यमान हो उठे। सब तरफ शम्भू शम्भू नमामि शम्भू का उद्घोष होने लगा।
देव दीपावली का यह दृश्य विलक्षण था। नरेंद्र मोदी ने प्रथम दीप प्रज्ज्वलित कर आयोजन का शुभारम्भ किया। इसके साथ ही काशी के आदिकेशव से अस्सी तक सभी घाट क्षण भर में ही असंख्य दीयों की रोशनी से जगमगा उठे।

प्रधानमंत्री जी कार्तिक पूर्णिमा एवं देव दीपावली और गुरु नानक देव जी के प्रकाश पर्व की बधाई दी। हर हर महादेव के उद्घोष से संबोधन प्रारम्भ किया। कहा कि सौ साल पहले माता अन्नपूर्णा की चोरी हुई मूर्ति वापस आ रही है। हमारे देवी देवताओं की प्राचीन मूर्तियां हमारी विरासत हैं। काशी की विरासत अब लौट रही है।

किसानों को बिचौलियों से मुक्ति

माँ अन्नपूर्णा की कृपा से किसानों को बिचैलियों व उनका शोषण करने वालों से मुक्ति मिल रही है। रेहड़ी पटरी वालों को भी बैंक सहायता प्रदान कर रहे हैं। देश लोकल के लिए वोकल भी हो रहा है। वोकल फॉर लोकल जीवन का हिस्सा बनना चाहिए। सुधारों की सार्थकता सामने आने लगती है,तो विरोध शान्त हो जाता है। गंगा जी काशी विश्वनाथ मन्दिर धाम के निकट आ गई है। काशी का गौरव पुनर्जीवित हो रहा है।

एक भारत श्रेष्ठ भारत

योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रधानमंत्री ने नेतृत्व में एक भारत, श्रेष्ठ भारत का निर्माण हो रहा है। अयोध्या में पांच शताब्दी का सपना साकार हुआ। काशी के आध्यात्मिक एवं सांस्कृतिक महत्व को बनाए रखते हुए इसे वैश्विक मंच पर स्थापित किया है।

गंगा जल से आचमन

छह वर्षों में मां गंगा को निर्मल एवं अविरल बनाया गया है। अब गंगा जल से आचमन किया जा सकता है। प्रधानमंत्री के प्रयासों से काशी विश्वनाथ व मां गंगा को जोड़ने का कार्य श्री काशी विश्वनाथ मन्दिर धाम के माध्यम से हजारों साल बाद हो रहा है। प्रयागराज कुम्भ दो सौ देशों के राजदूतों को आमंत्रित कर दुनिया के वैश्विक मंच पर कुम्भ को स्थापित किया गया।

डॉ. दिलीप अग्निहोत्री

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