आप आप डेस्क नौकरी करते हैं? कई बार कार्य करते हुए घंटों बीत जाते हैं व आप बीच में उठकर चहलकदमी नहीं करते हैं? आये दिन आपकी गर्दन या कमर में दर्द रहता है? यदि हां! तो आपको तुरंत सावधान हो जाने की आवश्यकता है। प्रयास करें कि अपनी नौकरी प्रोफाइल व जीवनशैली में थोड़ा परिवर्तन लेकर आएं। दरअसल, जब शरीर एक्टिव नहीं रहता है तो असमय होने वाली मृत्यु का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ जाता है।
में प्रकाशित ब्रिटिश मेडिकल जर्नल (बीएमजे) की रिपोर्ट के हवाले से जो लोग 9 या उससे ज्यादा घंटे बैठकर कार्य करते हैं उनमें मृत्यु का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ जाता है। वर्ल्ड हेल्थ आर्गेनाईजेशन (WHO) के अनुसार, 18 से 64 वर्ष की आयु के बीच के लोगों को हर हफ्ते लगभग 150 मिनट तक थोड़ी मेहनत व 75 मिनट तक ज्यादा मेहनत करने को बोला गया।
में प्रकाशित ब्रिटिश मेडिकल जर्नल (बीएमजे) की रिपोर्ट के हवाले से जो लोग 9 या उससे ज्यादा घंटे बैठकर कार्य करते हैं उनमें मृत्यु का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ जाता है। वर्ल्ड हेल्थ आर्गेनाईजेशन (WHO) के अनुसार, 18 से 64 वर्ष की आयु के बीच के लोगों को हर हफ्ते लगभग 150 मिनट तक थोड़ी मेहनत व 75 मिनट तक ज्यादा मेहनत करने को बोला गया।
नॉर्वे के ओस्लो में orwegian School of Sport Sciences के प्रोफेसर उल्फ एकेलुंड की अध्यक्षता में रिसर्चर की एक टीम ने फिजिकल एक्टिविटी से सम्बंधित अन्य कई स्टडीज का तुलनात्मक अध्ययन किया। इससे इस बात का भी उल्लेख है कि नींद के समय को छोड़कर अगर आप 9 घंटे या उससे ज्यादा देर तक लगातार बैठे रहते हैं या एक ही मुद्रा में रहते हैं तो मृत्यु का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ सकता है।