खुद की स्वास्थ्य पर ध्यान न देना
ज्यादातर नए पैरेंट्स बच्चे का द्यान रखने के चक्कर में खुद का ध्यान रखना ही भूल जाते हैं। उन लोगों को ये समझना होगा कि माता-पिता बनने के बाद भी उनकी एक अपनी जिंदगी है जिसमें खुद का ख्याल रखना बहुत महत्वपूर्ण है। अगर वह खुद का ख्याल नहीं रखेंगे व अस्वस्थ हो जाएंगे तो बच्चे को कौन देखेगा। बच्चे की देखभाल करने के लिए अपनी देखभाल करना भी बहुत महत्वपूर्ण है।बच्चों के हाथ से Smart Phone रखें दूर
बहुत सारे पैरेंट्स की आदत होती है कि जब भी उनका बच्चा रोता है तो उसका ध्यान भटकाने के लिए वह उसे फोन पर कोई विडियो या फिर म्यूजिक चला देते हैं। वह बच्चों के हाथों में Smart Phone पकड़ा देते हैं ताकि बच्चा रोना बंद कर दें लेकिन यह बिल्कुल गलत है। क्या आप जानते हैं कम आयु में बच्चे के हाथ में Smart Phone दे देना बाद में आपके लिए कठिनाई का कारण बन सकता है। बच्चों का जल्द ही Smart Phone की आदत लग जाती है व फिर वह उसे देखेने के लिए जिद्द करने लगते हैं।
दूसरे बच्चों से न करें तुलना
बच्चे के इशारों को समझें
जब लोग नए अभिभावक बनते हैं तो अपने बच्चे के जरा से रोने से घबरा जाते हैं। उनको लगता है कि कहीं उनका बच्चा भूखा तो नहीं या फिर उसे कोई कठिनाई तो नहीं हो रही।हालांकि बच्चे के जरा से रोने से परेशान होने की आवश्यकता नहीं है। कभी कभी बच्चे आपका ध्यान अपनी ओर खींचने के लिए भी रोने लगते हैं, वह चाहते हैं कि आप जल्दी उनके पास आ जाएं। महत्वपूर्ण है कि आप अपने बच्चों के इशारों को जितना जल्दी हो सके समझने लगें।
सबकी बातों पर न करें विश्वास
जब आप पहली बार पैरेंट्स बनने वाले होते हैं तो लोग आपको कई तरह की नसीहत देते हैं। ऐसे में आप सोच में पड़ जाते हैं कि क्या करें व किसकी सुनें। इन परिस्थितियों में घबराने की आवश्यकता नहीं है क्योंकि एक अभिभावक बनने के बाद धीरे धीरे आपको खुद समझ आ जाएगा कि उसके लिए क्या ठीक व बेहतर है।