लखनऊ। नागरिकता संशोधन बिल (सीएबी)-2019 सोमवार को लोकसभा में पास हो गया। गृहमंत्री अमित शाह ने सीएबी को लोकसभा में और यह ध्वनिमत से पारित भी हो गया। हालांकि इसे अमल में लाने के लिए अभी राज्य सभा और राष्ट्रपति की मंजूरी बाकी है। लेकिन इस बीच देश भर में सीएबी और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) के खिलाफ विरोध प्रदर्शन भी शुरू हो गए हैं। विपक्षी दलों के साथ तमाम सामाजिक व धार्मिक संगठनों और बुद्धिजीवियों ने इन दोनों बिलों को संविधान विरोधी और भारतीयता के खिलाफ बताया है।
सोमवार को लखनऊ में तमाम साामाजिक संगठनों के दर्जनों कार्यकर्ताओं व सदस्यों ने हांथों में तख्तियां लेकर सीएबी और एनआरसी का विरोध किया। नागरिकता बचाओ आंदोलन के बैनर तले प्रदर्शन कर रहे युवकों और महिलाओं ने सीएबी देश की अस्मिता पर चोट है मोदी सरकार तेरी नीयत में खोट है३,सीएबी और एनआरसी हमें मंजूर नहीं३जैसे नारे लिखी तख्तियां हांथों में ले रखी थीं।