बलरामपुर जिले में राप्ती नदी ने 2017 की बाढ़ का रिकॉर्ड तोड़ दिया है।नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 96 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गया है।आसमान में बादल और सूरज के बीच दिनभर लुकाछिपी का खेल चला।
राप्ती नदी खतरे के निशान के एकदम करीब पहुंच गई है। रोहिन नदी में उफान को देखते हुए कैम्पियरगंज तहसील क्षेत्र में नदी के किनारे के गांवों के लोगों के बीच दहशत में है।
लोगों को यह डर सताने लगी है कि कहीं नदी और उफानाई तो क्या होगा। वर्ष 2017 में रोहिन नदी ने इस इलाके में जमकर तबाही मचाई थी। उन दिनों को याद कर इलाके के लोग सिहर जा रहे हैं। लोगों ने एहतियातन बचाव उपाय शुरू कर दिए हैं। जिले के करीब 355 गांव और यहां की करीब सवा दो लाख आबादी बाढ़ की चपेट में आ गई है।
जिला आपदा प्रबंध प्राधिकरण ने चेतावनी जारी की है कि जिस तरह से नदियों का जलस्तर बढ़ रहा है उसके मुताबिक कभी भी राप्ती नदी भी खतरे का निशान पार कर सकती है। प्रशासन ने राप्ती-रोहिन के किनारे के गांवों के लोगों को सतर्कता बरतने को कहा है।
बताया जा रहा है कि जलस्तर और बढ़ सकता है। जिले के 355 गांव बाढ़ की चपेट में हैं।श्रावस्ती जिले में स्कूल बाढ़ के पानी में डूब गए हैं। एसडीआरएफ की टीम राहत व बचाव कार्य में लग गई है।