औरैया। पांचवे राष्ट्रीय पोषण माह के अंतर्गत मंगलवार को विकास खंड अछल्दा के आंगनबाड़ी केंद्र औतों में सम्मान समारोह आयोजित किया गया। सर्वप्रथम मुख्य अतिथि कृषि केंद्र परवाहा की वैज्ञानिक डॉ रश्मि यादव और यूनिसेफ बीएमसी सुबोध कुमार ने फीता काटकर कार्यक्रम का शुभारंभ किया।
तत्पश्चात मुख्य अतिथि रश्मि ने गर्भवती ज्योति को कुपोषण मुक्त होने पर माला पहनाकर और प्रतिक चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। कुपोषण से जूझ रही ज्योति आज पूरी तरह स्वस्थ हो चुकी है और ऐसा स्वागत मिलने पर बेहद खुश है और वो आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सुमन दीदी का धन्यवाद देती है। सुमन बताती है कि ज्योति ने गुड चने का नियमित सेवन किया और सभी टीके समय से लगवाये इसके साथ ही हरी सब्जियों का सेवन भी किया तभी वो कुपोषण कि जद्द से बाहर आ पायी। कार्यक्रम में अन्य लोगों को भी उनके स्वास्थ्य में बेहतर सुधार आने पर सम्मानित किया गया। यूनिसेफ बीएमसी सुबोध ने धात्री माता अंजली को 6 माह तक लगातार स्तनपान करवाकर बच्चे को स्वस्थ रखा को प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया।
प्रधानाचार्य सरोज और सुधीर कुमार ने 7 माह की लाभार्थी प्रतिज्ञा की मां शशि को अपनी बच्ची को अच्छी देखभाल करके कुपोषण से बचाने पर प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया। प्रधानाध्यापक लोकेश शुक्ला और सहायक प्रधानाध्यापक हरिनारायण यादव ने 3 से 6वर्ष की निवी जो प्रतिदिन स्कूल आगनवाड़ी केंद्र पर आती है उसे प्रतीक चिन्ह देकर सम्मानित किया। डॉ रश्मि ने सहजन की पौष्टिकता के बारे में बताया।
बीएमसी सुबोध कुमार ने आंगनवाड़ी केंद्र में मौजूद सभी को संपूर्ण टीकाकरण के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि यदि बच्चे का समय पर संपूर्ण टीकाकरण करवा लिया जाए तो इससे गलघोटू, काली खांसी, टीबी, पोलियो, खसरा, पीलिया, निमोनिया, दिमागी बुखार आदि जानलेवा बीमारियों से बच्चे को बचाया जा सकता है। नवजन्मे बच्चे को सबसे पहले मां का गाढ़ा पीला दूध पिलाना चाहिए जोकि बच्चे के लिए वैक्सीन का काम करता है।
कृषि केंद्र परवाहा की वैज्ञानिक डॉ रश्मि ने बताया कि कुपोषण को मिटाने के लिए केंद्र व राज्य सरकार भरपूर प्रयास कर रही हैं। पोषण माह के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों में विभिन्न प्रकार की गतिविधयों के माध्यम से लोगों को जागरूक किया जा रहा है। सुपोषित भारत की परिकल्पना को लक्षित करते हुए प्रधानमंत्री जी ने वर्ष 2018 में पोषण अभियान की शुरुआत की थी। इसका मुख्य उद्देश्य जन आंदोलन और जन भागीदारी से कुपोषण मिटाना है। इसी लक्ष्य को ध्यान में रखते हुए सितंबर माह को राष्ट्रीय पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है। कार्यक्रम में आए लाभार्थी अर्चना, प्रीति, सलोनी खुशबू सहित अन्य लोगों ने प्रतिभाग किया।कार्यक्रम में कुल दो महिलाएं और दो गर्भवती मातायें सम्मानित की गईं। अंत में आँगन वाड़ी कार्यकर्ता सुमन चतुर्वेदी ने सहजन के दो पौधे सभी मुख्य अतिथि से रोपित करवाए।
रिपोर्ट-शिव प्रताप सिंह सेंगर