अमेरिकी संसद के दो सीनियर सेनेटर्स ने यूएस आर्म्ड कंट्रोल्स एक्सपोर्ट ऐक्ट में संशोधन का प्रस्ताव सदन में पेश किया है. इसके तहत हिंदुस्तान को भी नाटो राष्ट्रों के समानपंजीकृत दिए जाने का प्रस्ताव रखा गया है. इससे हिंदुस्तान इंटरनैशनल ट्रैफिक इन आर्म्स रेग्युलेशन लिस्ट में अमेरिका के नाटो सहयोगियों की बराबरी पर आ जाएगा. वैसेअमेरिका की इस लिस्ट में इजरायल, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड व दक्षिण कोरिया शामिल हैं. इस संशोधन विधेयक को डेमोक्रेट सीनेटर मार्क वॉर्नर व रिपब्लिकन सीनेटर जॉन कॉर्निन ने पेश किया है. इस बिल में फॉरेन मिलिट्री सेल्स के नियमों में परिवर्तन की बात कही गई है. इस सारे मुद्दे की जानकारी रखने वाले सूत्रों ने बताया कि यदि संसद से इसे मंजूरी मिल जाती है तो यह भारत-अमेरिका के संबंधों में बड़ी प्रगति होगी. इस संशोधन को मंजूरी मिलने के बाद हिंदुस्तान को अमेरिका से ऑपरेशन जरूरतों के लिए जल्द हथियार व तकनीक की उपलब्धता हो सकेगी. इससे आपूर्ति तेज होगी.
अमेरिकी व्यवस्था में दो टेक्नॉलजी कंट्रोल लिस्ट हैं, एक एक्सपोर्ट अडमिनिस्ट्रेशन रेग्युलेशन है, जिसमें सिविल व मिलिट्री यूज के इक्विपमेंट्स आते हैं. दूसरी लिस्ट इंटरनैशनल ट्रैफिक इन आर्म्स रेग्युलेशन की है. पेंटागन के मुख्य रक्षा साझीदारों में शामिल होने पर हिंदुस्तान को अति संवेदनशील सैन्य सामग्री हासिल हो सकेगी.