कांग्रेस के दिग्गज नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया के पार्टी से अलग होने को लेकर सचिन पायलट ने जो कहा है उससे कांग्रेस आलाकमान बुरी तरह परेशान है। सचिन पायलट ने कहा है कि सिंधिया का पार्टी से अलग होना दुखद है। चीजें पार्टी के अंदर ही सुलझाई जा सकती थी। राजस्थान के उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने सिंधिया के खिलाफ कुछ भी नहीं कहा।
सूत्रों के मुताबिक सचिन पायलट खुद सिंधिया के स्टैंड से सहानुभूति रखते हैं। उनका मानना है कि सिंधिया के साथ मध्य प्रदेश में वहीं अन्याय हुआ है जो उनके साथ राजस्थान में हुआ है। सिंधिया के इस्तीफे के बाद बीजेपी की ओर से उन्हें राज्यसभा का उम्मीदवार भी बना दिया गया।
इस बीच सभी को सचिन पायलट के स्टैंड के सामने आने का इंतजार था। सचिन पायलट ने ट्वीट करते हुए लिखा “ज्योतिरादित्य सिंधिया को कांग्रेस से अलग होते देखना दुखद है। काश चीजों को पार्टी के अंदर ही साथ मिलकर सुलझा लिया गया होता।”
मध्यप्रदेश में कांग्रेस ने चुनाव जीतने के बाद कमलनाथ को केन्द्र की राजनीति से उठाकर राज्य का मुख्यमंत्री बना दिया था। यह तब हुआ जब सिंधिया की अगुवाई में ही कांग्रेस ने पूरा प्रचार अभियान चलाया था। इसी तरह राजस्थान में भी सचिन पायलट मुख्यमंत्री पद के दावेदार थे, पर उनकी जगह अशोक गहलोत को राज्य का मुख्यमंत्री बना दिया गया। सिंधिया की तरह पायलट भी कई मौकों पर अपनी पार्टी के खिलाफ नाराजगी जाहिर कर चुके हैं।