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चतुरी चाचा के प्रपंच चबूतरे से…कांग्रेस मोदी क विरोध करत-करत देस केरी सुरक्षा ते खेलिय लागि हय

 नागेन्द्र बहादुर सिंह चौहान

चतुरी चाचा ने प्रधानमंत्री की सुरक्षा में हुई चूक की चर्चा करते हुए कहा- हम याक बड़ी करू बाति कहय जाय रहेन। कांग्रेस मोदी क विरोध करत-करत देस केरी सुरक्षा ते खेलिय लागि हय। कांग्रेस का या बाति समझय क चही। प्रधानमंत्री कौनव दल का नाय होत हय। पीएम तौ सगरे देस क होत हय। पँजाब मा मोदी का साजिशन 20 मिनट ओवर बिरज पय रवाका गवा। किसान विरोध तौ बहाना रहय। कांग्रेस का युह सब करय क पहिले सोचयक चही। कांग्रेस का इंदिरा गांधी अउ राजीव गांधी हत्याकांड याद रखय क चही। बाकी अब तौ पाँचव राज्यन म चुनाव होय जाय रहे। काल्हि ते चुनाव अचार संहिता लागि गय। अबसिला चुनाव आयोग कोरउना क लैके बड़ा गम्भीर हय। चुनावी इतिहास म पहली दांय चुनावी सभा, यात्रा अउ रैली प रोक लागि हय।

चतुरी चाचा अपने चबूतरे पर हुक्का गुड़गुड़ा रहे थे। ककुवा, मुंशीजी, कासिम चचा व बड़के दद्दा उचित दूरी पर मास्क लगाकर बैठे थे। आज चार दिन की बारिश के बाद सुबह धूप खिली थी। कई दिनों बाद गांव के बच्चे मैदान में कबड्डी खेल रहे थे। पुरई हमेशा की तरह पशुओं का चारा-पानी करने में जुटे थे। चबूतरे पर बड़ी तादाद में मास्क व सेनिटाइजर की शीशी रखी थीं। चतुरी चाचा गलियारे से निकल रहे ग्रामीणों को मास्क वितरित कर रहे हैं। मेरे चबूतरे पर पहुँचते ही चतुरी चाचा ने प्रधानमंत्री की सुरक्षा में चूक को लेकर चर्चा शुरू कर दी। चतुरी चाचा का कहना था कि पंजाब में जो कुछ हुआ, वह पूरे देश के लिए चिंता का विषय है। प्रधानमंत्री की सुरक्षा से खिलवाड़ किया गया। मोदी का व्यक्तिगत विरोध करते-करते कांग्रेस राष्ट्र विरोध पर उतर आती है। कांग्रेस ने अपने नेता इंदिरा गांधी व राजीव गांधी की हत्या से भी कुछ नहीं सीखा है। कांग्रेस ने मोदी के रूट पर साजिशन किसानों का धरना-प्रदर्शन कराया था। देश की जनता इसकी हकीकत से रूबरू होना चाहती है। उन्होंने चुनाव आयोग द्वारा पांचों राज्यों में चुनावी रैली और पैदल, साइकिल, वाहन यात्रा पर रोक लगाने पर खुशी जाहिर की।

ककुवा ने चतुरी चाचा की बात को आगे बढ़ाते हुए कहा- पँजाब सरकार पहिले प्रधानमंत्री केरी सुरक्षा ते खिलवाड़ किहिस। देस भर म जबु विरोध होय लाग, तौ चन्नी सरकार जांच करावै क ढोंग करय लागि। हम सभे जानित हय कि पँजाब सरकार मोदी का रैली म जाय ते रोकिस रहय। बाद म कांग्रेस कहय लागि कि मोदी क रैली म भीड़ नाय रहय। यहिते मोदी खुदय रस्ता म रुकिगे रहयं। हुवाँ क मुख्यमंत्री चन्नी कह रहे मोदी क कौनव खतरा नाय रहय। झूठ बोलय म तनकिव शरम नाय आय रही हय। अरे! सत्ता पक्ष क्यार खूब विरोध करव। मुला, देस हित का हमेशा ऊपर राखव। विरोध म नैतिकता झलकय चही। जनता सब देखि सुनि रही हय। जउन पार्टी जइस करी, वइस भरी। कांग्रेस अपने करमन ते इ हालत मा पहुंचि गय। मोदी केरी सुरक्षा क मामला सुप्रीम कोर्ट म चलि रहा। केन्द्र सरकारव जांच करावै जाय रही। जनता चाहत हय कि इ प्रकरण क्यार खुलासा होय। साजिश कर्तन का कड़ी सजा मिलय। इसी बीच चंदू बिटिया हम प्रपंचियों के लिए जलपान लेकर आ गई। आज जलपान में तुलसी-अदरक की कड़क चाय के साथ आलू की गर्मागर्म कचौड़िया थीं।

जलपान के बाद मुंशीजी ने कोरोना की चर्चा करते हुए कहा- देश में कोरोना का विस्फोट हो गया है। एक लाख से ज्यादा नए मरीज रोज मिलने लगे हैं। कई राज्यों में मौतों का भी सिलसिला शुरू हो गया है। स्कूल, जिम, वाटर पार्क इत्यादि बन्द कर दिए गए हैं। सिनेमाघर, होटल व रेस्तरां आदि को क्षमता से आधे पर चलाने की अनुमति दी गयी है। बाजार, मॉल व मैरिज हॉल के लिए भी नए नियम बनाए गए हैं। परन्तु, राजनीतिक सभाएं, यात्राएं व रैलियां बदस्तूर जारी हैं। इन राजनीतिक कार्यक्रमों में हजारों लोग हिस्सा ले रहे हैं। कहीं भी कोरोना नियमों का पालन नहीं हो रहा है। कोई इन नेताओं से पूछे कि क्या आपके द्वारा एकत्र किए जा रहे हुजूम से कोरोना नहीं फैलेगा?

इस पर कासिम चचा ने कहा- मुंशीजी, इस मामले में कांग्रेस ने बड़ी जिम्मेदारी का परिचय दिया है। कांग्रेस ने कोरोना विस्फोट को देखते हुए अपनी सभी रैलियों को निरस्त कर दिया है। इसी तरह आम आदमी पार्टी ने भी कोरोना महामारी के चलते चुनावी सभाओं को स्थगित करने का निर्णय लिया है। इस निर्णय का स्वागत किया जाना चाहिए। अब भाजपा, सपा, बसपा व अन्य सभी राजनीतिक दलों को भी इस पर विचार करना चाहिए। सभी को वर्चुअल सभाएं करनी चाहिए। सत्ता के लिए जनता की जान को जोखिम में डालने का हक किसी भी राजनीतिक पार्टी को नहीं है। साथ ही, जनता को राजनीतिक कार्यक्रमों में जाने के पहले अपनी और अपने परिवार के स्वास्थ्य के बारे में चिंतन करना चाहिए। पूरी दुनिया में ओमिक्रोन का कहर बढ़ता ही जा रहा है। भारत भी ओमिक्रोन भयावह रूप लेता जा रहा है। ऐसे में ‘जान है तो जहान है’ का विचार आगे रखना चाहिए।
बड़के दद्दा ने कहा- कासिम चचा, आपकी चिंता जायज है। परन्तु, ध्यान देने वाली बात यह है कि महाराष्ट्र, दिल्ली, केरल, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल इत्यादि राज्यों में विधानसभा चुनाव नहीं है। इसके बावजूद इन राज्यों में ही कोरोना का सर्वाधिक कहर है।

विधानसभा चुनाव तो उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, पँजाब, गोवा व मणिपुर राज्यों में हैं। इन राज्यों में अभी कोरोना का ज्यादा संक्रमण नहीं है। बहरहाल, शनिवार शाम से पांचों राज्यों में चुनाव आयोग की गाइड लाइन लागू हो गयी है। अब इन सभी राज्यों में कोई चुनावी सभा, रैली, जुलूस व यात्रा आदि नहीं होगी। यूपी में सात चरणों में मतदान होगा। वहीं, मणिपुर में दो चरणों यानी 27 फरवरी व तीन मार्च को मतदान होगा। पँजाब, गोवा एवं उत्तराखंड में एक ही चरण यानि 14 फरवरी को मतदान होगा। उप्र में पहले चरण का मतदान 10 फरवरी, दूसरा चरण 14, तीसरा चरण 20, चौथा चरण 23, पांचवां चरण 27, छठा चरण 3 मार्च व सातवें चरण का मतदान 7 मार्च को होगा। आगामी 10 मार्च को पांचों राज्यों में मतगणना होगी।

प्रपंचियों को कोरोना का अपडेट देते हुए मैंने बताया कि विश्व में अबतक 30 करोड़ 39 लाख से अधिक लोग कोरोना की जद में आ चुके हैं। इनमें 55 लाख से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। इसी तरह भारत में अबतक तीन करोड़ 53 लाख से अधिक लोग कोरोना से पीड़ित चुके हैं। इनमें चार लाख 83 हजार से ज्यादा लोग मारे जा चुके हैं। देश में अबतक कोरोना टीके की 153 करोड़ से अधिक डोज लग चुकी है। देश में 62 करोड़ से अधिक लोगों को दोनों टीके लग चुके हैं। विश्व में कोरोना का ओमिक्रोन नामक नया वैरियंट कहर ढा रहा है। भारत में ओमिक्रोन वैरियंट के मरीजों की संख्या बड़ी तेजी से बढ़ रही है। देश के 18 राज्यों में ओमिक्रोन वैरियंट के मरीज मिल रहे हैं। महाराष्ट्र, दिल्ली, केरल, तमिलनाडु व पश्चिम बंगाल की स्थिति बड़ी खराब है। देश के कुल कोरोना मरीजों में आधे रोगी महाराष्ट्र के हैं। कई राज्यों में रात्रिकालीन कर्फ़्यू लागू है। बच्चों (15 से 18 वर्ष) को कोरोना वैक्सीन युद्ध स्तर पर लगाई जा रही है। कल से फ्रंट लाइन वर्कर्स को कोरोना वैक्सीन की बूस्टर डोज दी जाएगी।

अंत में चतुरी चाचा ने सबको मकर संक्रांति की बधाई एवं शुभकामनाएं दी। इसी के साथ आज का प्रपंच समाप्त हो गया। मैं अगले रविवार को चतुरी चाचा के प्रपंच चबूतरे पर होने वाली बेबाक बतकही को लेकर फिर हाजिर रहूँगा। तबतक के लिए पँचव राम-राम!

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