जम्मू और कश्मीर को विशेष प्रदेश का दर्जा देने वाले आर्टिकल 370 को केन्द्र की नरेन्द्र मोदी सरकार ने समाप्त कर दिया है. इसके अतिरिक्त जम्मू और कश्मीर से पूर्ण प्रदेश का दर्ज छिन गया है व उसे केन्द्र शासित प्रदेश बना दिया गया है. साथ ही लद्दाख को भी अलग केन्द्र शासित प्रदेश घोषित कर दिया गया है. इतना सबकुछ होने से पहले सरकार ने एहतियात के तौर पर वहां फंसे हुए सभी टूरिस्टों व अमरनाथ यात्रियों को घाटी से वापस बुलाने के आदेश जारी किए थे. इस बीच टीम इंडिया के ऑलराउंडर इरफान पठान भी कश्मीर में क्रिकेट एसोसिएसशन के साथ जुड़े हुए थे, लेकिन सरकार की अपील के बाद वो रविवार को वापस लौट आए.
पठान ने किया कश्मीर मुद्दे पर ट्वीट
इरफान पठान ने कश्मीर से लौटकर एक ट्वीट किया, जिसमें उन्होंने बोला है, ‘मेरा दिल व दिमाग दोनों कश्मीर में है. मेरा दिल व दिमाग भारतीय आर्मी और भारतीय कश्मीरी भाईयों-बहनों पर लगा है.‘ आपकी जानकारी के लिए बताते चलें कि इरफान पठान के अतिरिक्त जम्मू-कश्मीर क्रिकेट टीम के सपोर्ट स्टाफ ने कश्मीर छोड़ने की अनुमित मांगी थी.इन सभी ने रविवार को कश्मीर छोड़ दिया. इससे पहले जम्मू-कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन के प्रमुख कार्यकारी ऑफिसर (सीईओ) सैयद आशिक हुसैन बुखारी ने एक वेबसाइट से बोला था, ‘जी हां, जम्मू-कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन ने पठान व सपोर्ट स्टाफ के अन्य सदस्यों को राज्य से जाने के लिए बोला है. इन सभी को रविवार को भेज दिया गया. जो चयनकर्ता क्षेत्र के नहीं है, उन्हें भी अपने-अपने स्थानों पर भेज दिया गया है.‘
घरेलू क्रिकेट सीजन पर पड़ेगा असर
जम्मू-कश्मीर में सियासी उथल-पुथल की वजह से वहां प्रारम्भ होने वाले घरेलू क्रिकेट सीजन में जम्मू और कश्मीर की टीम को बड़ा झटका लगा है. 17 अगस्त से दिलीप ट्रॉफी प्रारम्भ होगी व इसके बाद विजय हजारे ट्रॉफी का आयोजन होगा. रणजी ट्रॉफी 9 दिसंबर से प्रारम्भ होगी, लेकिन इससे पहले ही 100 से अधिक क्रिकेटर्स को घर भेजा जा रहा है. यह क्रिकेटर्स भिन्न-भिन्न आयु के हैं. ये सभी क्रिकेटर्स श्रीनगर के शेर-ई-कश्मीर स्टेडियम में शिविर में शामिल थे.