Breaking News

शराब पीने वालों में यह बीमारी हो सकती है खतरनाक, आज ही घर बैठे करे इसका इलाज़

एसिडिटी कोई नयी बीमारी नहीं है, लेकिन आधुनिक ज़िंदगी शैली के बुरे असर के कारण इसके खतरे का स्तर बढ़ता जा रहा है. आमतौर पर खट्टी डकार आना, पेट फूलना, सीने व पेट में जलन एसिडिटी के लक्षण माने गए हैं. साधारण खाना खाने वाले को भी कभी-कभी ऐसा होने कि सम्भावना है, लेकिन वक्त-बेवक्त खाना खाने वालों के साथ ही ज्यादा स्पाइसी, तला-गला पसंद करने वालों व ज्यादा शराब पीने वालों में यह बीमारी खतरनाक हो सकती है.


एम्स की डाक्टर वीके राजलक्ष्मी के अनुसार, पेट के अम्लीय पदार्थों का खाने की नली में आ जाना एसिडिटी का मुख्य कारण होता है. लंबे समय तक यह स्थिति बनी रहे तो शरीर के अंदरूनी अंगों को नुकसान पहुंचता है. एसिडिटी को काबू करने के घरेलू उपाय-
डाक्टर लक्ष्मीदत्ता शुक्ला बताते हैं कि कुछ आसान प्राकृतिक तरीकों की मदद से एसिडिटी का उपचार किया जा सकता है. जिन लोगों को अक्सर इसकी समस्या रहती है, वे रात को सोने से पहले एक गिलास गुनगुना पानी पिएं. खाना खाते समय या खाना खाने के अच्छा बाद पानी पीने से बचें. खाना खाने के करीब 15 मिनट तक कुछ न खाएं. जब शरीर को पानी की आवश्यकता होगी, वह अपने आप मांग लेगा.

तुलसी-एसिडिटी के उपचार में तुलसी रामबाण दवा है. जैसे ही एसिडिटी की समस्या हो, तुलसी के कुछ पत्ते चबा लें. तत्काल आराम मिलेगा. इसके अतिरिक्त तुलसी की पत्तियों को पानी में उबालकर काढ़ा बनाया जा सकता है.

दालचीनी-दालचीनी पाचन के लिए अच्छी होती है. एक कप पानी में आधा चम्मच दालचीनी डालें व उबाल लें. इसको ठंडा होने पर दिन में चार से पांच बार पिएं. सलाद या सूप में दालचीनी का उपयोग किया जा सकता है.

छाछ-छाछ भी एसिडिटी का अच्छा तरीका है. छाछ में लैक्टिक एसिड होता है, जो एसिडिटी को सामान्य करने में मदद करता है. छाछ में काली मिर्च व धनिया की पत्तियां मिलाकर सेवन करें. इसके अतिरिक्त छाछ में मेथी बीज का पेस्ट मिलकर सेवन करने से एसिडिटी से होने वाला पेट दर्द दूर हो जाता है.

लौंग-पेट में ज्यादा जलन हो रही है तो लौंग चबाएं. इसके उपयोग का दूसरा उपाय है- लौंग को क्रश कर लें व उतनी ही मात्रा में इलायची मिलाकर खाएं. इससे एसिड की समस्या से निजात पाने में मदद मिलेगी.

इसके अतिरिक्त जीरा, अदरक, गुड़ व सौफ को किसी भी रूप में लिया जाए, एसिडिटी में मदद करते हैं.

दूध-दूध गैस्ट्रिक एसिड को स्थिर करता है. कैल्शियम में समृद्द होने के कारण दूध पेट में एसिडिटी बढ़ने से रोकता है.

डाक्टर वीके राजलक्ष्मी के अनुसार, जिन लोगों में एसिडिटी की अधिक शिकायत रहती है, उन्हें फल व सब्जियों का सेवन अधिक करने की सलाह दी जाती है. खाना थोड़ी-थोड़ी मात्रा में खाएं.

About News Room lko

Check Also

रजाई और कंबल से आ रही है सीलन की बदबू तो अपनाएं ये तरीके, बिना धूप दूर हो जाएगी दुर्गंध

सर्दियों के मौसम में ठंडी हवाओं से बचने के लिए लोग ऊनी कपड़े और रजाई ...