दुबई में रहने वाले यूसुफ खान सिंगल पेरंट बन गए हैं। उन्होंने सरोगेसी से सिंगल पैरेंट बनने के लिए 12 बार प्रयास किया। उनका कहना है कि उन्हें किसी लाइफ पार्टनर की आवश्यकता नहीं है और वह अपने बच्चे को मां की कमी खलने नहीं देंगे। उनका कहना है कि उनमें रिलेशनशिप का जीन नहीं बल्कि पैरंटिंग का जीन है। मैं एक बच्चा चाहता था जिसे हमेशा याद कर सकूं। सिंगल फादर को शादीशुदा होने की आड़ में छिपना नहीं चाहिए।
पेशे से म्यूजिक टीचर यूसुफ अपने बेटे कबीर का डायपर बदलने से लेकर उसे नहलाने, खिलाने और हर कुछ घंटों में गाना गाकर सुला रहे हैं। मूलरूप से पुणे निवासी 36 साल के यूसुफ खान ने कहा कि सिंगल पैरंट बनने का फैसला बच्चों के लिए असीम प्यार के चलते लिए और इसे पूरा करने के लिए वह शादी के बंधन में नहीं बंधना चाहते हैं। उल्लेखनीय है कि 42 वर्षीय अभिनेता तुषार सिंगल पैरंट हैं और वह 2016 में सरोगेसी के जरिए बेटे लक्ष्य के पिता बने।
तुषार कपूर का कहना है कि एक पिता के तौर पर अब वह और अधिक आत्मविश्वास से लबरेज महसूस करते हैं। जब दिन खत्म होता है तो उन्हें लगता है कि मैंने बहुत काम कर लिया, यहां तक कि जब वह छुट्टियों पर होते हैं तब भी उन्हें एहसास नहीं होता कि वह काम नहीं कर रहे हैं। उधर, यूसुफ ने कहा कि वह दूसरे शादीशुदा और अविवाहित मर्दों को अपने बच्चों की देखभाल करने के लिए प्रेरित करना चाहते हैं. आखिरकार यह सिर्फ महिलाओं का ही काम नहीं है।