कोरोना महामारी के पहले और दूसरे दौर के दौरान देश का रियल एस्टेट सेक्टर बुरी तरह प्रभावित हुआ। हालांकि महामारी से उबरने के बाद इस सेक्टर में सुधार दिखने लगा। हालांकि, अब भी इस सेक्टर को वो गति हासिल नहीं हो पायी है जिसकी इस कारोबार से जुड़ी कंपनियां उम्मीद कर रही थीं।
रियल एस्टेट कारोबार से जुड़ी कंपनियों का मानना है कि यह सेक्टर एक बार फिर तेज रफ्तार हासिल कर सकता है अगर आगामी बजट में वित्त मंत्री इस सेक्टर को सहारा देने के लिए कुछ घोषणाएं करें। हालांकि इस बार वित्त मंत्री इस बार अंतरिम बजट लेकर आ रही हैं क्योंकि इसी साल आम चुनाव होने हैं। ऐसे में रियल एस्टेट कंपनियों को उम्मीद है कि इस अंतरिम बजट में सरकार की ओर से कुछ ऐसे संकेत मिले उद्याेग को रफ्तार दे। बाजार से जुड़े जानकारों को उम्मीद है कि चुनावों को देखते हुए अंतरिम बजट में सरकार रियल एस्टेट सेक्टर के लिए कुछ बड़ा एलान कर सकती है। कुछ संभावित एलान चुनाव के बाद पूर्ण बजट के दौरान किया जा सकता है।
रियल एस्टेट कंपनियों को उम्मीद है कि आगामी बजट में सरकार उनके लिए कर्ज की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए भी कदम उठा सकती है। अगर ऐसा होता है अटकी पड़ी हाउसिंग परियोजनाओं को पूरा करने को गति मिलेगी। रियल एस्टेट सेक्टर घर खरीदने वालों के लिए वित्त मंत्री की ओर से इंसेंटिव का एलान करने की भी उम्मीद कर रही है। बता दें वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 01 फरवरी 2024 को अंतरिम बजट पेश करेंगी।
रियल एस्टेट सेक्टर के जानकारों का मानना है कि बीते कुछ समय में महंगाई में बेतहाशा इजाफा हुआ। दूसरी ओर होम लोन पर ब्याज दर में भी बढ़ोतरी हुई है। ऐसे में आगामी बजट के दौरान सरकार की ओर से घर खरीदने वालों के लिए टैक्स में राहत का एलान किया जाना चाहिए।
किफायती और मध्यम मूल्य वाले सेगमेंट में ग्राहकों को टैक्स में राहत मिलने से ग्राहकों को तो फायदा होगा ही साथ ही इसका लाभ रियल एस्टेट कंपनियों को भी मिलेगा। किफायती हाउसिंंग के सेगमेंट में ग्राहकों को होम लोन पर लगने वाले ब्याज पर टैक्स में पूरी छूट दी जानी जाहिए। उम्मीद है वर्ष 2024 के बजट के दौरान सरकार इसका ध्यान रखेगी। वर्तमान में सेक्शन 24 के तहत होम लोन के ब्याज पर एक वित्तीय वर्ष में आयकर में अधिकतम दो लाख रुपये छूट का ही प्रावधान है।