पणजी। गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर पंचतत्व में विलीन हो गए। शाम 6 बजे गाेवा के एसएजी ग्रांउड पर उनके पार्थिव शव को उनके बड़े बेटे ने मुखाग्नि दी। राजधानी पणजी की सड़कों पर अपने नेता को अंतिम विदाई देने के लिए हजारों की संख्या में जनसैलाब उमड़ पड़ा। बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह समेत अन्य नेताओं ने उनके पार्थिव शरीर के अंतिम दर्शन कर उन्हें श्रद्धांजलि दी।
फरवरी 2018 से अग्नाशय संबंधी बीमारी से पीड़ित
13 दिसंबर 1955 को गोवा के मापुसा में जन्मे पर्रिकर की शिक्षा लोयोला स्कूल, मडगांव में हुई। वर्ष 1978 में स्नातक की उपाधि भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, मुम्बई से मेटलर्जिकल इंजीनियरिंग में प्राप्त की। इसके बाद पर्रिकर राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ में शामिल हुए। चार बार के मुख्यमंत्री और पूर्व रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर फरवरी 2018 से अग्नाशय संबंधी बीमारी से पीड़ित थे।
केंद्र सरकार ने उनके निधन पर सोमवार को राष्ट्रीय शोक
मनोहर पर्रिकर के दोनों बेटों ने एसएजी ग्राउंड पर अंतिम संस्कार की सारी रस्में पूरी की। वैदिक मंत्रोच्चार के बीच उनका अंतिम संस्कार किया किया गया। केंद्र सरकार ने उनके निधन पर सोमवार को राष्ट्रीय शोक की घोषणा की है। मनोहर पर्रिकर की सादगी हमेशा लोगों के बीच चर्चा का विषय रही। गोवा के लोगों के बीच पर्रिकर कितने लोकप्रिय थे,इस बात का अंदाजा उनकी अंतिम यात्रा में उमड़ी भीड़ को देखकर लगाया जा सकता है।