वर्क फ्रॉम होम यानी घर से कार्य करने के चलन की वजह से लोगों में अकेलेपन की समस्या बढ़ती जा रही है. यह दावा अमेरिका में जारी किए गए लोनलीनेस इंडेक्स में किया गया है.
इसमें बोला गया है कि घर में बैठकर कार्य करने की वजह से लोगों का आना-जाना कम होता है. इंडेक्स के मुताबिक, 2018 में यह संख्या 54% थी जो 2019 में बढ़कर 61% पर पहुंच गई. सर्वे के दौरान 10200 लोगों से 20 सवाल पूछे गए थे. इन के जवाब यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया व लॉस एंजेलिस यूनिवर्सिटी की लोनलीनेस स्केल के आधार पर जांचे गए.
इंडेक्स के अनुसार औसतन एक अमेरिकी जिंदगी में करीब 90 हजार घंटे कार्य करते हुए बिताता है. इसमें बड़ा भाग घर से कार्य करने का होता है. यह समस्या पुरानी पीढ़ी के बजाय युवाओं में ज्यादा मिली है. करीब 48% युवाओं ने बोला कि वे अकेलेपन से जूझ रहे हैं. जबकि वरिष्ठ लोगों में यह आंकड़ा 28% ही है.
तनाव का कारण बढ़तीतकनीक
स्टडी का नेतृत्व करने वाली कंपनी सिग्ना का बोलना है कि तकनीक का बढ़ता उपयोग, ज्यादा गैजेट व हमेशा कार्य करने की संस्कृति की वजह से लोग तनाव महसूस कर रहे हैं व उन्हें आराम करने के लिए कम समय मिल रहा है. वे सोशल मीडिया पर ज्यादा समय बिताते हैं. दोस्तों व परिवार को टाइम देना कम कर देते हैं. इसके अलावा, युवाओं में अकेलेपन के बढ़ने का एक कारण सोशल मीडिया का लगातार प्रयोग भी है.
- इंडेक्स के अनुसार,औसतन एक अमेरिकी जिंदगी में करीब 90 हजार घंटे कार्य करते हुए बिताता है.
- 48% युवाओं ने बोला कि वे अकेलेपन से जूझ रहे हैं, जबकि वरिष्ठ लोगों में यह आंकड़ा 28% है.
सोशल मीडिया पर रहने वाले ज्यादा अकेले
रिपोर्ट के अनुसार, जो सोशल मीडिया पर सक्रिय रहते हैं, उनके अकेले रहने की संभावना ज्यादा होती है. सोशल मीडिया का आवश्यकता से ज्यादा प्रयोग करने वाले 70% यूजर्स ने अकेलेपन की शिकायत की, जो एक वर्ष पहले 53% ही थी. सोशल मीडिया कम प्रयोग करने वालों में से 51% ने बोला कि वे अकेलापन महसूस करते हैं.