देश की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी के बाद अब टाटा मोटर्स भी डीज़ल कारें बंद करने की तैयारी में हैं। कंपनी की ओर से जारी बयान में बोला गया है कि ऊंची लागत के चलते छोटी गाड़ियों के लिए नए एमिशन नॉर्म्स के हिसाब से डीजल इंजन डिवेलप करना लाभकारी नहीं होगा, क्योंकि उससे गाड़ियों के दाम बढ़ेंगे व उनकी डिमांड कम रहेगी।आपकी जानकारी के लिए बताते चलें किगाड़ियों की बिक्री बंद करने के ऐलान कर चुकी है। हालांकि, देश की दूसरी सबसे बड़ी कार कंपनी ह्यूंदै मोटर इंडिया के अतिरिक्त टोयोटा मोटर व फोर्ड मोटर की लोकल यूनिट्स का बोलना है कि नए एमिशन नॉर्म्स के पालन से खर्च में बढ़ोतरी होने के बावजूद वे इंडिया में डीजल इंजन वाली गाड़ियां बेचती रहेंगी।
क्यों टाटा बंद करने जा रही है अपनी डीज़ल कारें- टाटा मोटर्स के पैसेंजर वीइकल बिजनस यूनिट के प्रेजिडेंट मयंक पारीक ने पीटीआई को बताया कि BS-VI एमिशन नियम के लागू होने के बाद छोटी डीजल गाड़ियों के मुद्दे में कंप्लायंस महंगा हो जाएगा।
>> कंपनी की लागत बढ़ जाएगी। ऐसे में कारों के दाम बढ़ाने पड़ेंगे। इसलिए स्वाभाविक रूप से डीजल गाड़ियों की सेल में गिरावट आएगी। हमें लगता है कि एंट्री व मिड साइज के डीजल मॉडल की मांग कम रहने से कम कपैसिटी के इंजन के डिवेलपमेंट में आने वाली ऊंची लागत वाजिब नहीं होगी।
मारुति कर चुकी हैं ऐलान- मारुति सुजुकी की ओर से जारी बयान में बोला गया है कि कि BS-VI एमिशन नियम लागू होने के बाद डीजल गाड़ियों की बिक्री बंद करने का कदम उठाएगी, क्योंकि नए रेग्युलेशंस के हिसाब से डीजल इंजन को अपग्रेड करने में मोटी रकम खर्च होगी।