रिपोर्ट-डॉ. दिलीप अग्निहोत्री
लॉक डाउन के पहले दिन से ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जरूरतमंदों तक भोजन पहुंचाने पर विशेष ध्यान दिया था। इसके मद्देनजर उन्होने शीर्ष स्तर की कमेटी को जिम्मेदारी सौंपी थी। सभी जनपदों में कम्युनिटी किचेन स्थापित किये गए। योगी स्वयं यहां बनने वाले भोजन की गुणवत्ता देखने गए थे। इसके लिए उन्होंने जिला स्तर तक अधिकारियों की जबाब देही तय की थी। एक बार फिर मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए के प्रदेश में कोई भूखा नहीं रहना चाहिए। इसके लिए राशनकार्ड की अनिवार्यता भी नहीं होगी। जिसके पास कोई कार्ड नहीं है,उनको भी राशन या भोजन उपलब्ध कराया जाएगा।
कुछ समय पहले तक शाहीनबाग और लखनऊ घण्टाघर में सीएए के विरोध में धरना चल रहा था। पुरुष घरों में थे, महिलाओं और छोटे बच्चों को धरने पर बैठाया जा रहा था। आजादी के नारे लगवाए जा रहे थे। नागरिकता प्रदान करने वाले कानून को नागरिकता छिनने वाला घोषत किया जा रहा। विपक्ष के दिग्जजो के लिए यहां वोटबैंक सियासत का मंच था। यहाँ हाजरी लगाने की इनमें होड़ लगी थी। अब ये सब नेता नदारत है। ट्विटर पर सलाह देने तक सीमित है।
जबकि नरेंद्र मोदी और योगी आदित्यनाथ बिना भेदभाव के कोरोना आपदा राहत व प्रबंधन में जुटे है। इसी के मद्देनजर योगी आदित्यनाथ ने बिना कार्ड वालों को भी भोजन देने के निर्देश दिए है। इसके अलावा मुख्यमंत्री लॉक डाउन के पालन और हॉट स्पॉट में विशेष सतर्कता के प्रति भी गम्भीर है। उन्होंने लॉकडाउन के दूसरे चरण का सख्ती से पालन कराने का निर्देश भी दिया है। उन्होंने विशेष आदेश दिया है कि प्रदेश में कोई भूखा ना रहे। इसके लिए अधिकारी हर जरूरतमंद की मदद करें। शेल्टर होम व कम्यूनिटी किचन में खाने की उत्तम व्यवस्था उपलब्ध कराने पर भी जोर दिया गया है।
योगी आदित्यनाथ स्वयं लॉकडाउन के दूसरे चरण की प्रतिदिन समीक्षा कर रहे है। प्रदेश के सभी अस्पतालों में पीपीई किट व एन नाईनटी फाइव मास्क और सुरक्षा के सभी साधन उपलब्ध कराए जा रहे है। मुख्यमंत्री के निर्देश पर अधिकारी जरूरतमंदों को मिलने वाली राहत की निगरानी करेंगे। वह यह देखेंगे कि प्रदेश में कोई भूखा ना रहे। अन्य राज्यों के मुकाबले उत्तर प्रदेश में खाद्यान्न का वितरण सबसे अधिक हुआ है। प्रथम चरण में चौदह करोड़ लोगों को खाद्यान्न वितरित किया गया है। इस तरह से कुल सात लाख से अधिक मीट्रिक टन खाद्यान्न का वितरित किया जा चुका है। दूसरे चरण में प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत पन्द्रह अप्रैल से खाद्यान्न वितरण कार्य शुरू कर दिया गया है।
चवालीस प्रतिशत से अधिक लोगों को राशन वितरित किया गया। यह वितरण भी देश में रिकार्ड है। अब प्रत्येक हॉटस्पॉट की जिले स्तर के वरिष्ठ अधिकारी निगरानी करेंगे। हॉटस्पॉट एरिया के हर घर को सैनीटाइज किया जा रहा है। डोर स्टेप डिलीवरी की भी निगरानी की जा रही है। दैनिक उपयोग की वस्तुएं यहां उपलब्ध कराई जा रही है। प्रदेश में साढ़े तेरह हजार से अधिक कम्यूनिटी किचन और जिला प्रशासन द्वारा संचालित करीब सात सौ किचन से बारह लाख से अधिक लोगों को फूड पैकेट का वितरण किया गया है।
प्रदेश में इक्कीस हजार किराना स्टोर संचालित हैं। साथ ही बीस हजार लोगों द्वारा पैंतीस हजार लीटर दूध का वितरण किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि हॉटस्पॉट क्षेत्रों में भी चार हजार ठेले व मोटर चालित वाहनों से सत्ताईस सौ लोग डोर स्टेप डिलीवरी कर रहे हैं। इन एरिया में भी एक सौ छाछठ किचनों का संचालन हो रहा है। इसी के साथ पूल टेस्टिंग का कार्य भी चल रहा है।