बिहार का विश्वप्रसिद्ध सोनपुर का मेला ऐतिहासिक है। बिहार के सोनपुर में हर साल कार्तिक पूर्णिमा में यह मेला लगता हैं। सोनपुर मेले को ‘हरिहर क्षेत्र मेला’ के नाम से भी जाना जाता है। बिहार की राजधानी पटना से लगभग पच्चीस किमी दूर सोनपुर में गंडक के तट पर लगने वाले यह मेला एशिया का सबसे बड़ा पशुमेला है।
एक समय इस पशु मेले में मध्य एशिया से कारोबारी आया करते थे, और लंबे चलने वाले इस मेले में दूर दूर से कलाकार भी आते थे. सुई से लेकर हांथी तक बिकने वाले #सोनपुर के मेले का अलग वैशिष्ट्य है। कार्यक्रम में पहुंची मालिनी अवस्थी ने कहा, मैं ने यहां चार बार कार्यक्रम दिया है।
इस बार भी सोनपुर मेले में रात्रि नौ बजे शुरू हुआ कार्यक्रम देर रात तक चला… दूर दूर से आए रसिक श्रोताओं की सुरीली महफिल ने मुझे एक के बाद एक गाने के लिए विवश कर दिया। यह बिहार में ही संभव है, कि पचरा सोहर झूमर सुनने के बाद यकायक आपको श्रोताओं की ओर से भैरवी में ठुमरी सुनाने का आग्रह आ जायेगा, झूला और चैती सुनाने का आग्रह आ जायेगा। खूब आनंद रहा कल.. हृदय से आभार बिहार सरकार कला संस्कृति विभाग।