महेन्द्र सिंह धोनी… भारतीय क्रिकेट में एक ऐसा नाम जिनके साथ कई ऐतिहासिक उपलब्धियां दर्ज हैं। वो चाहे बल्लेबाजी हो, विकेटकीपिंग हो या कप्तानी के रूप में, महेन्द्र सिंह धोनी का इन तमाम क्षेत्रों में पूरी दुनिया ने जलवा देखा है। लेकिन पिछले कुछ महीनें महेन्द्र सिंह धोनी के लिए बहुत ही अलग तरह के रहे हैं जहां उनके साथ कई उतार-चढ़ाव हुए।
आईसीसी क्रिकेट विश्व कप के बाद से महेन्द्र सिंह धोनी भारत के लिए कोई भी मैच नहीं खेल सके। तमाम अटकलों के बीच महेन्द्र सिंह धोनी की तो भारतीय टीम में अब तक वापसी नहीं हो सकी तो वहीं बीसीसीआई ने उन्हें अपने कॉन्ट्रेक्ट से बाहर का रास्ता दिखा दिया।
बीसीसीआई ने धोनी को सेन्ट्रल कॉन्ट्रेक्ट से बाहर करने के साथ ही उन्होंने कहीं ना कहीं संकेत दे दिया है कि उनका करियर अब भारतीय टीम के लिए ज्यादा नहीं बचा है।
वैसे ये नहीं है कि एमएस धोनी को सेन्ट्रल कॉन्ट्रेक्ट से बाहर करना उनकी इंटरनेशनल क्रिकेट के दरवाजें बंद करता है लेकिन अब वो सेन्ट्रल कॉन्ट्रेक्ट से बाहर करने के बाद बिना बोले ही झारखंड टीम के साथ मैदान में अभ्यास करने के लिए उतर चुके हैं।
वैसे जिस तरह से विश्व कप के बाद से ही अपने भविष्य को लेकर लगातार सवालों में हैं लेकिन वो पूरी तरह से अपने आगे की योजना के बारे में नहीं बता रहे हैं। हालांकि उन्हें पिछले साल के अंत में ये पूछा था कि कब मैदान में उतर रहे हैं तो उन्होंने इतना जरूर कहा कि ‘ जनवरी तक मत पूछो ‘
युवाओं को मौका देते रहने की कही थी बात
इसके अलावा धोनी ने ये भी कहा कि ‘मैंने विश्व कप के बाद स्पष्ट कर दिया कि हम आगे बढ़ रहे हैं। हम युवाओं को मौका दे रहे हैं और देखते हैं कि वे टीम में स्थापित होते हैं। ऋषभ पंत के अच्छा प्रदर्शन करने और संजू सैमसन के पक्ष में आने से मुझे यकिन है। आप हमारी विचार प्रक्रिया को समझ रहे होंगे।’