औरैया। जनपद में बढ़ते कोरोना संक्रमण को देखते हुए जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोरोना का हर हाल में हराने हेतु प्राथमिकता पर अभियान चलाया जा रहा है। शासन के निर्देशानुसार जिला प्रशासन द्वारा कोरोना की रोकथाम एवं बचाव हेतु कई कार्रवाई की जा रही है। कोविड-19 की रोकथाम हेतु जिला अस्पताल में एकीकृत कोविड कमांड एवं कंट्रोल सेंटर की स्थापना की गई है जिसके द्वारा जनपद में कोविड-19 से संबंधित होने वाली सभी महत्वपूर्ण गतिविधियों पर निगरानी रखी जा रही है।
एकीकृत कोविड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर 24 घंटे क्रियाशील है। इस कंट्रोल सेंटर द्वारा होम आइसोलेशन में रह रहे कोरोना मरीजों से संपर्क कर उनकी समस्याओं का निराकरण कराया जा रहा है। उन्हें दवाइयाँ पहुंचाई जा रही है। मरीजों को तत्काल एंबुलेंस उपलब्ध करा कर अस्पताल पहुंचाया जा रहा है। कोविड अस्पतालों की मॉनिटरिंग की जा रही है। साथ ही उच्च पुलिस अधिकारियों एवं प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा समय-समय पर हॉटस्पॉट क्षेत्रों व जनपद के अन्य क्षेत्रों का भ्रमण कर लोगों को सुविधाएं पहुंचाई जा रही है।
जनपद स्तर पर कलेक्ट्रेट में एक कन्ट्रोल रूम स्थापित किया गया है जिसके द्वारा लोगों की शिकायतों का निराकरण किया जा रहा है। इसके अलावा कोरोना की रोकथाम हेतु सभी नंगर पंचायतों और ग्राम पंचायतों में साफ सफाई व सेनेटाइजेशन कराया जा रहा है। नाले व नालियों की नियमित सफाई की जा रही है। शनिवार व रविवार को विशेष सफाई अभियान चलाकर साफ सफाई का कार्य किया जा रहा है। हॉटस्पॉट एरिया में होम डिलीवरी के माध्यम से आवश्यक वस्तुओं एवं सेवाओं की आपूर्ति की जा रही है।
सीएमओ ने बताया कि जिले में अधिक से अधिक सैम्पल लिये जा रहे। स्वास्थ्य टीमों के द्वारा होम आइसोलेशन में रहे मरीजों को स्वास्थ्य सुविधा दी जा रही है। जनपद में अभी तक 24251 लोगों के सैंपल लिए जा चुके हैं, जिसमें से 21136 लोगों की रिपोर्ट नेगेटिव प्राप्त हुई है। जनपद में पॉजिटिव पाए गए 942 मरीजों में से अभी तक 566 लोग पूर्ण रूप से ठीक होकर घर जा चुके हैं। अब कोरोना मरीजों को होम आइसोलेशन की सुविधा प्रदान की जा रही है होम आइसोलेशन में रहने वाले मरीजों से फीडबैक भी लिया जा रहा है।
जिलाधिकारी अभिषेक सिंह ने बताया कि शासन द्वारा शनिवार व रविवार को लॉकडाउन के निर्देशों का जनपद में पूर्ण रूप से पालन कराया जा रहा है। इसका उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जा रही है। शासन द्वारा हाल ही में खाद, बीज, कीटनाशक आदि की दुकानों को खोलने के निर्देश दिए गए हैं उसका भी अनुपालन सुनिश्चित कराया जा रहा है। जिससे किसान भाइयों को कोई भी परेशानी ना हो।
इसके अलावा जनपद में कोविड-19 के प्रावधानों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई भी की जा रही है। कोरोना को लेकर जन सामान्य को जागरूक किया जा रहा है लोगों को दो गज दूरी का पालन करने, नियमित अंतराल पर हाथ धोने, मास्क लगाने एवं सैनिटाइजर का इस्तेमाल करने के विषय में जागरूक किया जा रहा है। जनपद के सभी महत्वपूर्ण कार्यालयों एवं समस्त थानों में कोविड हेल्प डेस्क की स्थापना की गई है जिसके माध्यम से आने वाले फरियादियों की थर्मल स्क्रीनिंग की जा रही है। इसके अलावा जिलाधिकारी ने बताया कि कोरोना के बढ़ते संक्रमण की गंभीरता को देखते हुए जनपद के सभी अधिकारियों को बिना अनुमति के मुख्यालय ना छोड़ने के निर्देश दिए गए हैं।
जिलाधिकारी ने कहा कि इस वैश्विक महामारी को खत्म करने हेतु अभी कोई वैक्सीन या कोई अन्य इलाज नहीं बन पाया है अतः इससे बचाव ही एकमात्र विकल्प है शासन द्वारा समय समय पर जो भी निर्देश प्राप्त हो रहे हैं उसी के अनुसार जनपद में कार्रवाई की जा रही है लोगों से अपील की जा रही है कि वह प्रशासन के निर्देशों का पालन करें जिससे कि वह और उनके स्वजन इस भयानक महामारी से बच सके।
सीएमओ ने कहा कि शासन द्वारा जिले के सौ शैय्या जिला चिकित्सालय को एल टू कोविड अस्पताल में परिवर्तित करने की तैयारी शुरू कर दी गई है। शासन द्वारा इसकी अनुमति प्राप्त हो चुकी है अब सौ शैय्या अस्पताल के एमसीएच बिन को एल टू में परिवर्तित किया जाएगा। इसके अलावा कोरोना संक्रमितों को आयुष्मान भारत योजना का भी लाभ दिया जा रहा है। साथ ही ऐसे व्यक्ति जिनकी कोविड-19 रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद नेगेटिव हो गई है उनकी टीवी की भी जांच कराए जाने की योजना बनाई जा रही है।
बाढ़ को लेकर जिला प्रशासन अलर्ट
बाढ़ की सम्भावना को लेकर भी जिला प्रशासन द्वारा सभी आवश्यक तैयारियां पूरी कर ली गई है। यमुना में बढ़े जलस्तर कर लेकर जिला प्रशासन अलर्ट मोड में आ गया है। प्रशासन ने बैठक कर बाढ़ प्रभावित गांवों में संभावित स्थिति से निपटने के लिए इंतजाम कर लिए हैं। आपदा से निपटने के लिए आवश्यक सामान भी खरीदा जा चुका है संवेदनशील गांवों में सफाई कर्मचारियों और लेखपालों की तैनाती कर दी गई है। और वहीं कंट्रोल रूम बनाकर यमुना के जलस्तर की प्रतिदिन मॉनिटरिंग की जा रही है।
पिछले वर्ष औरैया और अजीतमल क्षेत्र के 24 गांव बाढ़ प्रभावित हुए थे। जिला प्रशासन ने इन तथ्यों को ध्यान में रखकर इस बार रणनीति तैयार की है। अपर जिला अधिकारी रेखा चौहान ने बताया कि बाढ़ प्रभावित गांवों के लिए राजस्व विभाग, सिंचाई विभाग, स्वास्थ्य विभाग, कृषि विभाग, पुलिस विभाग, जल निगम, पंचायती राज विभाग, पशुपालन विभाग, विद्युत विभाग, पीडब्ल्यूडी, बेसिक शिक्षा विभाग, डीआरडीए, परिवहन विभाग आदि विभागों के अधिकारियों को सक्रिय कर दिया गया है।
रिपोर्ट-पुष्पेंद्र कुमार
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