ट्रैफिक नियमों की वजह से और पैदल चलने से परेशान एक गुजराती बुजुर्ग ने खुद के लिए वो साधन ईजाद कर लिया, जिससे उनकी सारी दिक्कतें दूर हो गई हैं। यहां पोरबंदर के रहने वाले हरीलाल परमार (78) इलेक्ट्रिक साइकिल चलाते हैं, जो उन्होंने खुद बनाई है। महज 5 किलो वजन वाली साइकिल को उन्होंने हफ्तेभर में तैयार कर लिया। अब यह साइकिल उनके बुढापे का बड़ा सहारा बन गई है। एक बार चार्ज करने पर यह इलेक्ट्रिक साइकिल 35 किमी तक चल सकती है।
अपने इस खास वाहन के बारे में हरीलाल परमार बताते हैं कि, उनका स्कूटर पुलिस ने एक साल पहले डिटेन कर लिया था। उसे छुड़ाने के लिए काफी मशक्कत करनी पड़ी। बाद में ऐसे ही ट्रैफिक नियमों से बचने के लिए उन्होंने कुछ अलग करने की सोची। अब वे शान से इलेक्ट्रिक साइकिल से घूमते हैं। यह खास लीवर वाली इलेक्ट्रिक साइकिल है, जो कि उन्होंने अपनी पुरानी साइकिल से बनाई है।
यह बैटरी से न सिर्फ चलती है, बल्कि ब्रेक दबाने से इसके पीछे की लाइट भी जलती है। साथ ही हेंडल में स्पीडो मीटर भी लगाया है। यह सब संभव हुआ हीरालाल के जुनून की वजह से। जबकि, वह सातवीं तक ही पढ़े हैं।