अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा झूठ, फरेब और छलछद्म की राजनीति करने से बाज आने वाली नहीं है। मतदान के दौरान उसने अपने विरोधियों के साथ दुर्व्यवहार किया। बड़ी संख्या में लोग मतदान से वंचित रहे। ई.वी.एम. बहुत जगह टीन का खाली डब्बा बनकर रह गई। अब अपनी खीझ मिटाने के लिए भाजपा नेता अफवाहबाजी के साथ वोटों की हेराफेरी के दुष्प्रयास में जुट गए हैं।
- Published by- @MrAnshulGaurav
- Wednesday 09 Febraury, 2022
उत्तर प्रदेश। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा है कि उत्तर प्रदेश में जनआकांक्षा और सत्तालोलुपता के बीच जंग में 10 मार्च 2022 का दिन निर्णायक सिद्ध होगा। भाजपा के झूठे वादों, बढ़ती महंगाई एवं भ्रष्टाचार से क्षुब्ध मतदाताओं ने विधानसभा चुनाव के सभी 7 चरणों के मतदान में जमकर समाजवादी पार्टी और गठबंधन दलों के पक्ष में वोट डालकर भाजपा सरकार को करारी शिकस्त दी। भाजपा को यह अहसास हो गया है कि जनता ने उसको सत्ता से बाहर का रास्ता दिखा दिया है इसीलिए वह षडयंत्र और साजिशों का सहारा ले रही है।
अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा झूठ, फरेब और छलछद्म की राजनीति करने से बाज आने वाली नहीं है। मतदान के दौरान उसने अपने विरोधियों के साथ दुर्व्यवहार किया। बड़ी संख्या में लोग मतदान से वंचित रहे। ई.वी.एम. बहुत जगह टीन का खाली डब्बा बनकर रह गई। अब अपनी खीझ मिटाने के लिए भाजपा नेता अफवाहबाजी के साथ वोटों की हेराफेरी के दुष्प्रयास में जुट गए हैं। जनता में भ्रम फैलाने के लिए एक्जिट पोल का सहारा लिया गया है, जिसकी जनता ने पोल खोल दी है।
उन्होंने कहा कि भाजपा द्वारा समाजवादी साथियों के मनोबल को तोड़ने की हरकतें की जा रही है लेकिन ऐसी किसी भी हरकत का कोई असर नहीं होगा। जनता ने स्वयं यह माना है कि विधानसभा चुनाव 2022 लोकतंत्र और संविधान की प्रतिष्ठा बचाना उनका नैतिक धर्म है। राज्य कर्मचारियों सहित बेरोजगारी से पीड़ित नौजवानों और भाजपाई कुनीतियों से त्रस्त किसानों, गरीबों ने भाजपा की कारगुजारियों को उजागर कर उनको सबक सिखाने का काम किया है। जनता ने समाजवादी गठबंधन को हृदय से अपना शुभचिंतक माना है।
अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा नेता एक्जिट पोल पर जनता के अविश्वास से जब डर गए हैं तो विपक्ष पर खासकर समाजवादी नेतृत्व पर ऊलजुलूल आरोप लगाने लगे हैं। समाजवादी पार्टी का विश्वास जनतंत्र में है। उन्होंने कहा कि भाजपा संविधान की मर्यादा से खेल करते हुए प्रशासन तंत्र को भी दबाव में लेकर अपनी स्वार्थपूर्ति के काम में लगी है। भाजपा को कोई लोकलाज नहीं रह गई है। वह लोकतंत्र की पवित्रता को नष्ट करने में तुली है। लोकमत को लूटने के किसी भी दुस्साहस को जनता बर्दाश्त नहीं करेगी। जनता भलीभांति जानती है कि यह लोकतंत्र की आखिरी लड़ाई है।