Apple ने अपने बहुत ज्यादा पॉपुलर फोन आईफोन एक्सआर (iPhone XR) का प्रोडक्शन हिंदुस्तान में प्रारम्भ कर दिया है। हिंदुस्तान Smart Phone की संसार की दूसरी सबसे बड़ी बाजार है। इसलिए कंपनी अपने बिज़नेस को यहां बढ़ाना चाहती है। चूंकि हिंदुस्तान में तमाम सस्ते फोन की कंपनियों ने भी पैर जमा रखा है इसलिए ऐप्पल को मुश्किलों का सामना करना पड़ता है।
हिंदुस्तान में फोन को एसेंबल करने से कंपनी को दो फायदे होंगे। एक तो आयात (Import) करने पर भारी ड्यूटी से छूट मिलेगी, दूसरा हिंदुस्तान में अपना रिटेल स्टोर खोलने के लिए महत्वपूर्ण लोकल आउटसोर्सिंग नॉर्म्स को पूरा करने में भी मदद मिलेगी।
बोला जा रहा है कि ऐप्पल के एक्सआर मॉडल का प्रोडक्शन चेन्नई में हो रहा है। ऐप्पल ने कन्फर्म किया है कि कंपनी अपने प्रोडक्ट्स की मूल्य नहीं बढ़ाएगी। ऐप्पल ताईवान, वियतनाम, मेक्सिको, इंडोनेशिया व मलेशिया जैसे राष्ट्रों में भी मैन्युफैचरिंग प्लांट लगाने की तैयारी में है।
लाइवमिंट की समाचार के मुताबिक सोमवार को देश के कुछ इलेक्ट्रॉनिक प्रोडक्ट रिटेलर के पास “Assembled in India” टैग के साथ iPhone XR के बॉक्स दिखे। सैमसंग (Samsung) व वन प्लस (OnePlus) के साथ कॉम्पटीशन को देखते हुए कंपनी ने iPhone XR की मूल्य में कटौती कर दी है।
दरअसल, iPhone XR को पिछले वर्ष iPhone XS व iPhone XS Max के साथ ही लॉन्च किया गया था। इसमें भी बाकी के विशेषता वैसे ही हैं लेकिन स्क्रीन का रिज़ोल्यूशन तुलनात्मक रूप से कम है। इसमें OLED के बजाय LCD का इस्तेमाल किया गया था। लॉन्च के वक्त इसकी मूल्य 76,900 रुपये थी लेकिन इस वक्त इसकी मूल्य 44,900 रुपये है।
कुछ रिपोर्ट के मुताबिक ऐप्पल iPhone 11 सीरीज़ की भी मैन्युफैक्चरिंग प्रारम्भ कर सकता है। कयास लगाए जा रहे हैं कि इससे आईफोन की मूल्य कम हो सकती है। लेकिन ऐसा ज़रूरी नहीं है क्योंकि यहां के बने हुए फोन को सिर्फ इंडिया में ही नहीं बेचा जाएगा बल्कि एक्सपोर्ट भी किया जाएगा।
बता दें कि पीएम नरेंद्र मोदी की भी प्रयास है कि दक्षिण एशिया की तीसरी सबसे बड़ी इकोनमी हिंदुस्तान को Smart Phone मैन्युफैक्चरिंग का हब बनाना चाहते हैं। बता दें कि कंपनियां भी हिंदुस्तान को अपना एक्सपोर्ट हब बनाना चाहती हैं क्योंकि चाइना के साथ जिस तरह का ट्रेड वॉर चल रहा है उसके असर को भी कम करने के लिए कंपनियां हिंदुस्तान को एक बड़े बाजार के रूप में देखती हैं।