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कागज पर नहीं जमीन पर दिखे योजनाएं : मोती सिंह

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के ग्राम्य विकास मंत्री राजेंद्र प्रताप सिंह “मोती सिंह” ने कहा है कि ग्राम्य विकास विभाग से संबंधित सभी योजनाओं का कार्य कागज पर नहीं बल्कि जमीन पर दिखना चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के अन्तर्गत सड़कों के निर्माण और मरम्मत में गुणवत्ता हर स्तर पर सुनिश्चित की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री जी ने भ्रष्टाचार के मामले जीरो टाॅलरेंस की नीति अपनाई है और उस नीति को विभागीय कार्यों में कड़ाई से लागू की जायेगी। अधिकारियों को उनकी कार्य प्रणाली में सुधार का मौका दिया जायेगा और सुधार न आने पर कठोर कार्रवाई की जायेगी।

ग्राम्य विकास मंत्री आज गन्ना संस्थान के परिसर में स्थित यूपीआरआरडीए के सभागार में ग्राम्य विकास विभाग का कार्यभार संभालने के बाद पहली बैठक को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि यूपीआरआरडीए के तहत निर्मित सड़कों का भौतिक सत्यापन समय-समय पर किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अनुरक्षणाधीन सड़कों के रखरखाव में गड़बड़ी पाये जाने पर संबंधित के खिलाफ कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने विभागीय अधिकारियों से जानकारी प्राप्त किया कि पिछले वर्षों में कितनी सड़कों का निरीक्षण किया गया है। उन्होंने कहा कि निर्माण के बाद एक साल के अन्दर सड़कों के खराब होने पर जवाबदेही तय की जायेगी। उन्होने महिलाओं को राष्ट्रीय आजीविका मिशन से जोड़ने के लिए सोशल मीडिया तथा अन्य माध्यमों से प्रचार-प्रसार पर जोर दिया।

उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण के अन्तर्गत पात्रता, निर्मित भवनों तथा गुणवत्ता का सत्यापन करने वाले अधिकारियों से अनिवार्य रूप से प्रमाण पत्र लेने के निर्देश दिये। इसके साथ ही आजीविका मिशन, मनरेगा तथा रूर्बन योजना के तथा कलस्टरों के निर्माण के संबंध में जानकारी प्राप्त की।उन्होंने कहा कि विकासखण्ड स्तर पर संसाधनों की कमी के चलते कार्य प्रभावित नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा कि अधिकारी टीम भावना से कार्य सुनिश्चित करें

मोती सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री जी की प्रेरणा तथा प्रदेश के मुख्यमंत्री के कुशल निर्देशन में देश व प्रदेश तेजी से प्रगति कर रहा है। ग्राम्य विकास विभाग गांवों के विकास से जुड़ा हुआ है। गांवों के विकास में इसकी महती भूमिका है। इसलिए सभी अधिकारी पूरी टीम भावना से ग्राम्य विकास की योजनाओं को जमीन पर उतारने का हर संभव प्रयास करें।

इस अवसर पर मौजूद मा. ग्राम्य विकास राज्यमंत्री आनन्द स्वरूप शुक्ला ने सुझाव दिया कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना की सभी सड़कों की फोटोग्राफी की जानी चाहिए, जिससे उनके रखरखाव की सही जानकारी प्राप्त हो सके। उन्होंने गुणवत्ता सुनिश्चित करने तथा नियमित सत्यापन के सुझाव दिये। इस अवसर पर महानिदेशक उ.प्र. ग्राम्य विकास प्रशिक्षण संस्थान एल. वेंकटेश्वर लू, ग्राम्य विकास आयुक्त के. रविन्द्र नायक, विशेष सचिव सुरेश कुमार व अच्छेलाल सिंह यादव, ओएसडी ग्राम्य विकास डा. हरिश्चन्द्र, अनुसचिव डा अम्बरीश कुमार सिंह, उपायुक्त ग्राम्य विकास ए.के. सिंह, संयुक्त निदेशक राजकीय आजीविका मिशन वी.के. भागवत, मुख्य अभियन्ता यूपीआरआरडीए समेत अन्य अधिकारी मौजूद थे।

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