अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) में भर्ती रहे पूर्व वित्त मंंत्री अरुण जेटली (Arun Jaitely) को याद कर डॉक्टरों व मरीजों की आंखें भर आती हैं। स्वर्गवास से पहले भर्ती रहे जेटली उपचार के दौरान अन्य मरीजों का भी ख्याल रखते थे। डॉक्टरों ने बताया कि उन्होंने मरीजों के लिए ठंडे पानी की सुविधा न होने की स्थिति में पांच पानी कूलिंग मशीनें लगवाई थीं। इतना ही नहीं इन मशीनों की मरम्मत व रखरखाव का खर्च वे अपने वेतन से उठाते थे।
जेटली को याद करते हुए एम्स के डॉक्टर कहते हैं कि वे जब तक भर्ती रहे मुस्कुराते रहे। वे एक जीवंत व्यक्ति थे। एम्स के निदेशक डाक्टर रणदीप गुलेरिया कहते हैं कि वे गंभीर रूप से बीमार होने के बावजूद जीने की अद्भुत क्षमता रखते थे। वे दर्द में भी हंसते थे व आसपास के लोगों के बारे में साेचते थे।
हिन्दुस्तान में प्रकाशित समाचार के मुताबिक गुलेरिया ने बताया कि जैसे-जैसे उनके अंगों ने कार्य करना बंद किया वे निढाल होते चले गए। उन्हें मशीनों पर रखा गया। इसके बावजूद वे जब भी होश में आते थे तो मुस्कुरा देते थे। सायं करीब 5 बजे उनके पार्थिव शरीर को दक्षिण दिल्ली आवास पर ले जाया गया। इस मौके पर एम्स के डॉक्टर, पैरामेडिकल स्टाफ, मरीज और उनके संबंधियों की आंखें भीगी हुई थीं।
पिछले वर्ष से लगातार गिर रहा था जेटली का स्वास्थ्य
खबर के मुताबिक पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली इससे पहले भी कई बार एम्स में भर्ती हो चुके हैं। पिछले वर्ष उनका किडनी प्रत्यारोपण हुआ था। जिसे करने के लिए दिल्ली अपोलो अस्पताल के वरिष्ठ डाक्टर संदीप गुलेरिया के अतिरिक्त दो वरिष्ठ चिकित्सक पीजीआई चंडीगढ़ से भी आए थे। 2019 में उनके सारकोमा में सॉफ्ट टिश्यू मिले थे, जिसे लेकर उन्हें न्यूयॉर्क के डॉक्टरों की सलाह लेनी पड़ी थी।