अयोध्या। अयोध्या के नंदीग्राम भरतकुंड से पूरब ग्राम नेवादा भावापुर गांव में भव्य कलश यात्रा के साथ भागवत कथा का शुभारंभ हो गया। कलश यात्रा भावापुर गांव के विभिन्न हिस्सों में भ्रमण करती हुई पुनः अपने गंतब्य स्थान भावापुर नेवादा में वापस आई।
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कथा के पहले दिन कथावाचक आचार्य राधेश शास्त्री ने भागवत कथा के महत्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि कथा का श्रवण मनुष्य के लिए बहुत ही लाभदायक और पुण्यकारी है। कथा से मानव समाज में व्याप्त समस्त गंदे विचारों और विकारों का नाश होता है और भक्तिभाव का भाव जागृत होता है। पवित्र और शुध्द मन से सुनी गई कथा से ही मनुष्य के जीवन का कल्याण होता है।
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कथा चंद्रमा की किरण के समान है जो सभी को समान रूप से शीतलता प्रदान करती है। कथा में मुख्य यजमान गिरिजा शंकर दूबे (सिंचाई विभाग) एवं धर्मपत्नी विजय कुमारी द्विवेदी (सिंचाई विभाग) सहित रमाकांत दूबे, रामसुख दूबे, कैलाशनाथ दूबे, देवा दूबे, रामकेदार दूबे, सुनील दूबे, राजेन्द्र प्रसाद पाठक सहित सैकड़ों हजारों श्रोतागण उपस्थित रहे।
रिपोर्ट-जय प्रकाश सिंह