• डीएम बोले नष्ट हुई फसल का आंकलन कर की जाएगी नुकसान की भरपाई
बिधूना में शनिवार की रात में निचली राम गंग नहर कन्हो गांव के पास कट गई। जिससे हजारों बीघा गेहूं, सरसों, आलू की फसल जलमग्न हो गई थी। सोमवार को डीएम पीसी श्रीवास्तव मुआयना के लिए पहुंचे तो किसानों ने बताया कि अब सिंचाई की जरूरत नही थी फिर भी नहर में पानी आ रहा था।
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ओवरफ्लो होने पर सिंचाई विभाग को सूचना दी, जिससे ये हालत हुई है। 2 साल पहले भी नहर कटी थी। डीएम ने सिंचाई विभाग को निर्देश दिया कि प्रभावित क्षेत्र में रिटेनिंग वॉल बनाई जाए।
डीएम पीसी श्रीवास्तव तहसील व सिंचाई विभाग के अधिकारियों के साथ पहुंचे और वहां के हालात देखे किसान उदय भान ने बताया कि हमारे खेत कन्हो मौजा में 25 बीघा है। जिसमे गेंहू की फसल है। सारी फसल पानी मे डूब गई है। उधार बीज लेकर हमने फसल बोई थी। वह भी बर्बाद हो गई है। गड़रियन पुरवा निवासी जय वीर सिंह ने बताया कि हमारी 5 बीघा गेंहू की फसल जल मग्न हो गई है। हमने दो दिन पहले ही खेतों पर ट्यूबवेल से पानी लगाया था।
डीएम ने कहा कि लेखपाल की टीम नुकसान का आकलन कर रही है, आकलन के बाद जल्द मुआवजा दिया जाएगा। आशा पुरवा निवासी राजेंद्र यादव ने बताया कि सूचना के बाद भी सिंचाई विभाग ने ध्यान नहीं दिया। जबकि समस्या पुरानी है। दो साल पहले भी इसी तरह कटान से फसल बर्बाद हो गई थी। डीएम ने सिंचाई विभाग को रिटेनिंग वॉल बनाने के निर्देश दिए। निचली रामगंग नहर की खंदी विकास खंड अछल्दा के गाँव गड़रियन पूर्वा के पास लगभग 6 मीटर कट गई थी।
जिससे नहर का पानी आसपास के गांव गड़रियन पुरवा, कन्नौह, पुरवा कुशल, आशा के पुरवा के खेतों में भर गया था। ग्रामीणों ने नहर कटने की जानकारी सिंचाई विभाग के कर्मचारियों को दी।
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सूचना पर अधिशासी अभियंता एडीएम, नायब तहसीलदार प्रतिभा, लेखपाल सौरभ भारतीय सहित पुलिस विभाग के अधिकारी और कर्मचारी रात में ही मौके पर पहुंचे और नहर की कटान को पाटने का कार्य शुरू हुआ।
हजारों बीघा फसल जलमग्न हो गई थी बल्ली व बोरी एवं जेसीबी से पटान करने में कर्मचारी जुटे रहे। तेज बहाव के कारण कटान के आसपास के खेत बालू से पट गए हैं। नहर कटने से अनिल, अभय राम, राम पाल, राजेन्द्र, लालाराम, राम केश, शिव राज सिह, राम औतार, नन्दे, शरमन, राम औतार, वीरेंद्र, प्रमोद, उमेश, सुखवीर, योगेंद्र, लाला राम, लाल सिह सहित सैकड़ों किसानों की गेहूं, आलू व सरसों की फसल समेत करीब एक हजार बीघा फसल जलमग्न हो गई थी।
रिपोर्ट – सन्दीप राठौर चुनमुन