यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने गुरूवार को राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एनडीएमए) के नये भवन का शिलान्यास किया और कहा कि सरकार के प्रयास से आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में उल्लेखनीय सफलता हासिल हुई है।
योगी ने बताया कि प्रदेश के सभी 75 जनपदों में आपदा मित्रों की होगी। इन्हें व्यवस्था के साथ जोड़ते हुए उचित मानदेय देने के लिए राजस्व विभाग को कहा गया है। कहा कि बाढ़ के समय आपदा मित्र भी एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पीएसी फ्लड यूनिट के साथ स्थानीय पुलिस प्रशासन और जनप्रतिनिधियों के साथ मिलकर जनधन की हानि को कम करने के लिए कदम उठाते हैं। आज लोगों में विश्वास है कि बाढ़ आई है तो सरकार की राहत भी साथ साथ आ रही होगी।
योगी ने कहा कि यूपी देश की सबसे बड़ी आबादी वाला राज्य है। स्वाभाविक रूप से बड़े क्षेत्रफल का राज्य होने के चलते चुनौती भी बड़ी है। प्रदेश में कभी 40 जिले बाढ़ प्रभावित माने जाते थे, आज हमने इस खतरे को 4-5 जिलों में समेटने का काम किया है। आज अगर कहीं आपदा आती है तो लोगों को ये विश्वास रहता है कि सरकार की ओर से राहत भी आ रही होगी।
यूपी की सीमा नेपाल, बिहार, झारखंड, छत्तीसगढ़, उत्तराखंड, दल्लिी, मध्य प्रदेश, झारखंड से मिलती है। यहां हिमालय से आने वाली नदियों के कारण बाढ़ का खतरा जुलाई से अक्टूबर तक बना रहता है। वध्यिं और बुंदेलखंड में आकाशीय बिजली का खतरा है तो पश्चिमी यूपी भूकंप के अति संवेदनशील जोन में से एक है। नेपाल से सटा तराई का क्षेत्र मानव और वन्यजीव द्वंद के कारण जाना जाता है।
करीब 66.40 करोड़ की लागत से डेढ़ एकड़ में बनने जा रहे पांच मंजिला भव्य इमारत के शिलान्यास के दौरान मुख्यमंत्री ने तकनीकी के माध्यम से प्रदेश में आपदा प्रबंधन और जनजागरूकता को आगे बढ़ाने पर बल दिया। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में ना प्रकार के क्लाइमेटिक जोन हैं। यहां आपदा की आशंका हमेशा बनी रहती है।