लखनऊ। देश के चर्चित हिन्दूवादी नेता कमलेष तिवारी हत्याकांड के मुख्य गवाह सौराष्ट्र जीत सिंह पर बीती मध्य रात्रि को अज्ञात हमलावरों ने जानलेवा हमला कर दिया। हमले के दौरान सुरक्षाकर्मी के चलते बाल-बाल बचे सौराष्ट्र ने देर रात गाजीपुर थाना पहुंचकर लिखित तहरीर दी, लेकिन अभी तक रिपोर्ट दर्ज नहीं की जा सकी।
वहीं इस घटना की जानकारी होते ही कई हिन्दूवादी संगठन के नेताओं ने घटना की निन्दा करते हुये तत्काल इस मामले इस मामले को दर्ज कर हमलावरों को गिरफ्तार कर कड़ी काररवाई की मांग की है। बताया जा रहा है कि बीती मध्यरात्रि लगभग साढ़े ग्यारह और बारह के मध्य हिन्दूवादी नेता कमलेश तिवारी की हत्याकांड के मुख्य गवाह सौराश्ट्र जीत सिंह अपने सुरक्षाकर्मी के साथ अपने निवास की ओर जा रहे थे कि तभी विंध्यवासिनी गेस्टहाउस, रहीमनगर में अज्ञात लोगों ने सौराश्ट्र एवं उनके सुरक्षाकर्मी कमलेष यादव पर प्राणघातक हमला कर दिया, लेकिन हमलावरों का हथियार ने धोखा दे दिया और जिससे वह बाल-बाल बच गये लेकिन गाड़ी में रखा मोबाइल और पर्स उठाकर ले गये।
इस घटना के तुरन्त बाद मध्यरात्रि के बाद थाना गाजीपुर में जाकर तहरीर दी। जिस पर पुलिस ने फिलहाल अभी तक कोई मुकदमा दर्ज नहीं किया है। वही आज दोपहर तक जब मामला दर्ज नहीं हुआ तो सौराश्ट्र जीत सिंह विधानभवन के समक्ष मौजूद मीडिया के समक्ष अपनी बात को रखने के लिये पहुंच गये। दूसरी ओर इस घटना को लेकर हिन्दू महासभा के प्रवक्ता शिशिर चतुर्वेदी, कृष्ण जन्मभूमि के पक्षकार राजेशमणि त्रिपाठी, शिवसेना के उप राज्य प्रमुख गौरव वर्मा, भारतीय जन-जन पार्टी के अध्यक्ष मनीष महाजन, हिन्दूवादी युवा नेता मोहित मिश्रा सहित कई लोगों ने कड़ी निन्दा करते हुये प्रदेश सरकार से मुकदमा दर्ज कर हमलावरों को गिरफ्तार कर कड़ी से कड़ी काररवाई की मांग की है। इन नेताओं ने आरोप लगाते हुये कहा कि मुख्य गवाह पर हुये प्राणघातक हमले की वजह कमलेश तिवारी के हत्या में शामिल लोगों को बरी कराने का उद्देश्य था।