पाकिस्तान (Pakistan) के प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) ने शनिवार को विपक्षी दलों के बहिष्कार के आह्वान के बीच नेशनल असेंबली (संसद) में विश्वासमत जीत लिया है. हाल में करीबी मुकाबले वाले सीनेट चुनाव (Pakistan Senate Elections) में वित्त मंत्री की हार के बाद उनकी सरकार पर संकट आ गया था. प्रधानमंत्री इमरान खान को संसद के 342 सदस्यीय निचले सदन में 178 वोट मिले और सामान्य बहुमत के लिए 172 वोट की जरूरत थी.
राष्ट्रपति आरिफ अल्वी (Arif Alvi) के निर्देश पर संसद का विशेष सत्र बुलाया गया था. विपक्ष ने इसमें हिस्सा नहीं लिया क्योंकि 11 दलों के गठबंधन पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट (Pakistan Democratic Movement) ने मतविभाजन का बहिष्कार किया था. पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट के उम्मीदवार और पूर्व प्रधानमंत्री यूसुफ रजा गिलानी (Yousaf Raza Gillani) ने बुधवार को सत्तारूढ़ पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (Pakistan Tehreek-e-Insaf) के उम्मीदवार अब्दुल हाफिज शेख (Abdul Hafeez Shaikh) को करीबी मुकाबले में सीनेट चुनाव में हरा दिया था.
हाफिज शेख के लिए प्रचार किया था
खान के लिए यह बड़ा झटका था, जिन्होंने वित्त मंत्री अब्दुल हाफिज शेख के लिए निजी तौर पर प्रचार किया था. वित्त मंत्री की हार के बाद विपक्षी दलों ने खान के इस्तीफे की मांग की थी. विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी (Shah Mahmood Qureshi) ने सदन में एक-सूत्री प्रस्ताव रखा. प्रधानमंत्री ने शुक्रवार को अपने आवास पर सत्तारूढ़ गठबंधन के नेताओं से मुलाकात की थी. उनसे सरकार के पक्ष में मतदान करने को कहा गया था.
जीत के बाद क्या बोले इमरान?
विश्वास मत हासिल करने के बाद इमरान खान ने नेशनल असेंबली को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने वहां मौजूद नेताओं को धन्यवाद किया. उन्होंने कहा कि जब भी आप मुश्किल समय का सामना करते हैं, तो अधिक मजबूत हो जाते हैं (Imran Khan After Trust Vote). उन्होंने कहा कि उनकी सबसे बड़ी ताकत उनका दिमाग है. इसके साथ ही उन्होंने सभी मंत्रियों को धन्यवाद किया. उन्होंने पार्टी के लोगों को वहां पहुंचकर वोट देने के लिए उनका आभार प्रकट किया.
विपक्षी नेताओं पर हुए हमला
जब संसद में वोटिंग चल रही थी, उसी बीच संसद के बाहर भारी हंगामा भी हुआ. कई विपक्षी नेताओं पर इमरान खान के समर्थकों ने हमला किया था. पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री शाहिद खाकान अब्बासी (Shahid Khaqan Abbasi) के साथ इमरान खान के समर्थकों ने मारपीट की. इस दौरान अब्बासी को उनके समर्थक बचाने भी आते हैं, साथ ही उनपर हमला करने वाले लोग वहां से भाग जाते हैं. वहीं पीएमएलएन नेता अहसान इकबाल (Ahsan Iqbal) पर जूता फेंका गया.