रियाद। भारत के संसदीय कार्य मंत्री और अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री किरेन रिजिजू हज यात्रा के संबंध में द्विपक्षीय समझौते को अंतिम रूप देने के लिए सऊदी अरब की आधिकारिक यात्रा पर हैं।
रिजिजू ने सोमवार को सऊदी अरब के हज और उमराह मंत्री तौफीक बिन फवजान अल-रबिया के साथ बैठक की, जिस दौरान दोनों ने 2025 के लिए द्विपक्षीय हज समझौते पर हस्ताक्षर किए। इस समझौते के तहत आगामी हज यात्रा के लिए भारत से 1,75,025 तीर्थयात्रियों का कोटा सुरक्षित किया गया।
दोनों पक्षों ने इस आध्यात्मिक यात्रा के महत्व को रेखांकित करते हुए तीर्थयात्रियों के लिए सर्वोत्तम सेवाएं सुनिश्चित करने के लिए अपनी प्रतिबद्धता व्यक्त की। रिजिजू ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर जानकारी साझा करते हुए लिखा सऊदी अरब के हज और उमराह मंत्री महामहिम तौफीक बिन फवजान अल-रबिया के साथ हज समझौते 2025 पर हस्ताक्षर किए गए।
हज 2025 के लिए भारत से 1,75,025 तीर्थयात्रियों का कोटा तय किया गया है। हम अपने सभी हज यात्रियों को सर्वोत्तम संभव सेवाएं प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।
इससे पहले सऊदी अरब पहुंचने पर रिजिजू का भारतीय राजदूत डॉ. सुहेल खान और उमराह मामलों के उप मंत्री प्रो. अब्दुलअजीज ए. वज़ान ने गर्मजोशी से स्वागत किया, जिसके बाद वज़ान ने रिजिजू के लिए औपचारिक रात्रिभोज का आयोजन किया, जिसने दोनों देशों के बीच सौहार्दपूर्ण संबंधों को प्रदर्शित किया।
अपनी इस यात्रा के दौरान केंद्रीय मंत्री रिजिजू ने कई उच्च स्तरीय बैठकों में भाग लिया। उन्होंने यहां परिवहन और रसद सेवाओं के मंत्री सालेह बिन नासिर अल-जस्सर से भी मुलाकात की, जिसमें दोनों देशों के बीच परिवहन और रसद क्षेत्रों में संभावित सहयोग पर चर्चा की गई।
चूंकि हज यात्रा भारतीय तीर्थयात्रियों के लिए गहन आध्यात्मिक महत्व रखती है तथा उनकी आस्था के साथ गहरा संबंध स्थापित करती है, इसलिए भारत सरकार सभी प्रतिभागियों के लिए यात्रा को यथासंभव सहज और आरामदायक बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।
रिपोर्ट-शाश्वत तिवारी