लखनऊ। सरकार के बीच कृषि कानूनों को लेकर जंतर मंतर पर किसान संसद पर लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुनील सिंह ने कहा है कि देश के किसान संगठनों और मोदी सरकार के बीच कृषि कानूनों को लेकर तनातनी पूरे जोरों शोरों से चल रही है। ‘किसान संसद’ का भाजपा नेताओं द्वारा विरोध किया जाना भाजपा सरकार द्वारा किसान विरोधी बताया है।
श्री सिंह ने आगे कहा है कि कुछ भाजपा नेता किसानों के बारे अजीबोगरीब बयानबाजी करते आए हैं। इस में भाजपा नेता और विदेश राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने किसानों को ‘मवाली’ और गुंडे कहना यह भाजपा सरकार के चरितार्थ को दिखाता है। जिसकी लोकदल कड़े शब्दों में निंदा करता है। 26 जनवरी को जो हुआ वह भी शर्मनाक अपराधिक गतिविधियां थी। भाजपा नेता मीनाक्षी लेखी द्वारा दिए गए इस बयान पर लोकदल और किसानों द्वारा किसान संसद को घेरा जा रहा है।
“भारत कृषि प्रधान देश होता तो किसानों को मवाली कहने वाली जेल में डाली जाती! अब तो यह अडानी-अंबानी प्रधान देश है। जहां उनकी दलाली करने वाले देश के प्रधान हैं।” सुनील सिंह ने आगे कहा कि किसान आंदोलन में अब तक कई किसान मर चुके हैं। कई किसान पुलिस द्वारा किए गए लाठीचार्ज में बुरी तरह घायल हुए हैं।
खुद को किसान हितेषी बताने वाली मोदी सरकार बीते 8 महीनों से किसानों को मरते हुए चुपचाप देख रही है।