इजराइली वायुसेना ने हमास पर जारी हमले के बीच देर रात गाजा पट्टी के आसपास घुसपैठ करने वाले गुर्गों को कमांड देने वाले हमास के ऑपरेशनल कमांड सेंटरों पर हमला किया और हमास की नुखबा एलीट फोर्स को निशाना बनाया.
इजराइली एयर फोर्स की तरफ से यह जानकारी X हैंडल के जरिए शेयर की गई. नुखबा एक ऐसी स्पेशल फोर्स है, जिसमें शामिल लड़ाकों का चुनाव हमास के वरिष्ठ कार्यकर्ताओं की एक कमेटी करती है. इस फोर्स में शामिल लड़ाके घात, छापेमारी, हमले, आतंकी सुरंगों के माध्यम से घुसपैठ के साथ-साथ एंटी-टैंक मिसाइल, रॉकेट और स्नाइपर फायर जैसे हमलों को अंजाम देने में माहिर होते हैं. ये फोर्स हमास की उन प्रमुख ताकतों में से एक है, जिन्होंने हमले के लिए इज़रायल में घुसपैठ की.
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इसके अलावा, इजराइली वायुसेना के विमानों ने राफा ब्रिगेड में हमास के एक सीनियर नौसैनिक ऑपरेटिव मुहम्मद अबू शामला पर हमला किया. आरोप है कि अबू शामला के घर का इस्तेमाल भी हमास के लिए किया जा रहा था.
गाजा में हमास को निशाना बना रहे इजराइली रक्षा बलों ने गुरुवार को कहा कि उन्होंने फिलिस्तीनी आतंकवादी समूह के विशिष्ट कमांडो विंग, नुखबा बल के खिलाफ हवाई हमले किए हैं. यह विशेष इकाई उस समय जमीन पर थी. जब हमास ने शनिवार को देश पर सबसे खूनी हमला करते हुए दक्षिणी इज़राइल में घुसपैठ की थी.
‘अल-नुखबा’ जिसका अर्थ अरबी में ‘कुलीन’ होता है, से लिया गया है. यह समूह हमास की सैन्य शाखा इज़ अल-दीन अल-क़सम ब्रिगेड के रैंकों के भीतर प्रमुख लड़ाकू इकाई है. इसमें उच्च प्रशिक्षित और अनुभवी लड़ाके शामिल हैं, जो नवीनतम हथियारों और प्रौद्योगिकी से लैस हैं.
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इजरायली सेना ने एक बयान जारी किया है, जिसके अनुसार, “नुखबा एलीट फोर्स में हमास के बेहद खतरनाक आतंकवादी शामिल हैं. जिन्हें आतंकवादी हमलों को अंजाम देने के लिए नामित किया गया है. इज़राइल को निशाना बनाकर और घात लगाकर हमले करने के अलावा वे हमास के वरिष्ठ नेताओं और उनकी सुरक्षा करने का काम भी करते हैं. नुखबा के लड़कों को बंधक बनाने की ट्रेनिंग भी जाती है. यह एक ऐसी रणनीति है, जिसका इस्तेमाल हमास खूब करता है.
अल-नुखबा के सदस्यों को विभिन्न विषयों में कठोर प्रशिक्षण से गुजरना पड़ता है, जिसमें हथियारों और विस्फोटकों को संभालना, स्कूबा डाइविंग और हाथ से हाथ का मुकाबला शामिल है. मिशन या जंग-ए-मैदान में वे आम तौर पर असॉल्ट राइफलों, स्नाइपर राइफलों और मशीनगनों से लैस होते हैं. उनके पास रॉकेट चालित ग्रेनेड और एंटी टैंक मिसाइलें तक होती हैं.
अल-नुखबा यूनिट 2014 के गाजा युद्ध में शामिल थीं और उन्होंने इजरायली बलों के खिलाफ कई सफल हमले किए. ऑपरेशन प्रोटेक्टिव एज के दौरान अल-नुखबा के कई सदस्य मारे गए थे, जिसे 2014 में इज़राइल ने शुरू किया था. हाल के वर्षों में, अल-नुखबा फोर्स की संख्या बढ़ी है, और उनकी क्षमताएं भी विकसित हुई हैं, जिससे वे हमास के आर्म्ड फोर्स का सबसे अहम हिस्सा बन गए हैं. आपको बता दें कि हमास ने अपनी अल-नुखबा एलीट फोर्स के कई लड़ाकों को आईएसआईएस के हाथों खो दिया था.