उत्तरप्रदेश में अपनी खोई प्रतिष्ठा को फिर से हासिल करने के लिए बहुजन समाजवादी पार्टी प्रमुख मायावती ने जमीन तलाशने का काम शुरू कर दिया है और पार्टी का बेड़ा गर्क करने वाले नेताओं को पार्टी से बेदखल किया जा रहा है. मायावती ने बड़ी कार्रवाई करते हुए चार पूर्व विधायकों को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया है.
इस खबर की पुष्टि करते हुए बस्ती के जिलाध्यक्ष संजय धूसिया ने कहा कि सभी नेता आलाकमान के रडार पर थे, महाराष्ट्र में सियासी घमासान के बीच उत्तरप्रदेश में भी बड़ा सियासी घटनाक्रम हुआ है. मायावती ने चार पूर्व विधायकों को पार्टी से निष्कासित कर दिया है. मायावती की ये हाल फिलहाल की सबसे बड़ी कार्रवाई बताई जा रही है.
मायावती ने जिन विधायकों को पार्टी से निष्कासित किया है उनमें सदर सीट से दो बार विधायक रहे जितेन्द्र चौधरी, महदेवा सीट से विधायक रहे दूधराम, रुधौली से विधायक रहे राजेन्द्र चौधरी और कप्तानगंज के विधायक और पूर्व मंत्री रहे राम प्रसाद चौधरी शामिल हैं.
जिला अध्यक्ष धूसिया मुताबिक इन चारों को अनुशासनहीनता और पार्टी विरोधी गिविधियों में शामिल होने की शिकायत के बाद निकाला गया है. इन सभी को निकालने का उपर से निर्देश था, और बसपा सुप्रीमो की जांच के बाद ये कार्यवाही की गई है.
आपको बता दें कि मायावती ने एक बार फिर यूपी में बीएसपी का पूरा संगठन बदल दिया है. प्रदेश को उन्होंने चार भाग में बांट दिया है. हर हिस्से को क्षेत्र का नाम दिया गया है. हर सेक्टर की ज़िम्मेदारी दो बड़े नेताओं को दी गई हैं . पहले सेक्टर में भीमराव अंबेडकर और सांसद गिरीश जाटव को लगाया गया है. लखनऊ, मेरठ, बरेली और मुरादाबाद मंडल को इस सेक्टर में रखा गया है.