- Published by- @MrAnshulGaurav
- Wednesday, May 11, 2022
राज्यपाल आनन्दी बेन पटेल देश के विकास में महिलाओं के योगदान को अपरिहार्य मानती है। वह इसके लोगों लोगों को जागरूक करती है। उनकी प्रेरणा से अनेक संस्थान आंगनबाड़ी केंद्रों व क्षय रोग पीड़ित बच्चों को गोद ले रहे है। इसके साथ ही समाज के वंचित वर्ग के उत्थान पर भी राज्यपाल का जोर रहता है। उन्होंने विजनौर जनपद की यात्रा के दौरान समग्र विकास का सन्देश दिया।
उन्होंने कहा कि समाज के कमजोर पीड़ित एवं निर्धन लोगों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए जन सहभागिता जन सहभागिता आवशयक है। इसके लिए लोगों को अपने दायित्व का पूर्ण निष्पक्षता और निष्ठा के साथ निर्वहन करना चाहिए। जिससे देश की मातृशक्ति एवं बच्चों के रूप में भारत का भविष्य स्वस्थ एवं उज्जवल हो सके। आनंदीबेन पटेल की प्रेरणा से जनपद बिजनौर भ्रमण के दौरान विकास भवन में आयोजित कार्यक्रम में जिले के इक्यावन आंगनबाड़ी केंद्रों को महात्मा ज्योतिबा फुले रूहेलखण्ड विश्वविद्यालय के कुलपति तथा विश्वविद्यालय से सम्बद्ध शिक्षण संस्थाओं,एपीजे अब्दुल कलाम टेक्निकल विश्वविद्यालय के कुलपति तथा स्थानीय विवेक कॉलेज तथा कृष्णा कॉलेज के सहयोग से गोद लिया गया।
इस अवसर पर आंगनवाड़ी केंद्रों को सुविधा सम्पन्न बनाने के लिये पठन पाठन तथा खेलकूद सामग्री भी वितरित की गई। गोद लेने वाली संस्थाओं को राज्यपाल जी ने प्रशस्ति पत्र प्रदान किया। एक अन्य कार्यक्रम में आनंदीबेन पटेल ने बिजनौर में जिला संयुक्त चिकित्सालय स्थित महिला एवं बाल विकास मंत्रालय भारत सरकार द्वारा संचालित सखी वन स्टॉप सेंटर का लोकार्पण किया। जिसका निर्माण ग्रामीण अभियंत्रण विभाग द्वारा किया गया है।