PM मोदी ने संसद में जारी गतिरोध और विपक्ष के हंगामें के चलते काम न होने के कारण 5 मार्च से अब तक चले बजट सत्र का वेतन न लेने के लिए कहा है। यही नहीं उन्होंने संसद सत्र के अन्य संसद सदस्यों से भी सेलरी छोड़ने के लिए कहा। जिसमें अनंत कुमार ने भी ईमानदारी की मिशाल पेश करते हुए 23 दिन का वेतन न लेने के लिए कहा है। वहीं राजग के साथ अन्य सहयोगी दलों ने भी पीएम मोदी की अपील के बाद संसद सत्र की सेलरी लेने से मना कर दिया है।
- दरअसल संसद सत्र चलाने के लिए प्रति मिनट औसतन ढ़ाई से तीन लाख रूपये खर्च आता है।
- ऐसे में गतिरोध और विपक्ष के हंगामें के चलते देश की अर्थव्यवस्था को करोड़ों का नुकसान होता है।
PM, विपक्ष कर रहा लोकतंत्र विरोधी राजनीति
केन्द्रीय मंत्री अनंत कुमार ने कहा कि गतिरोध और विपक्ष के हंगामें कारण संसद की कार्रवाई नहीं चल पा रही है। जिससे संसद का कार्य प्रभावित हो रहा है।
- उन्होंने दोनों सदनों में हंगामें के लिए कांग्रेस को जिम्मेदार ठहराया।
- उन्होंने कहा कि कांग्रेस लोकतंत्र विरोधी राजनीति कर रही है।
विपक्ष महत्वपूर्ण विधेयकों को पास होने में लगा रही रोक
संसदीय कार्य मंत्री ने कहा कि विपक्ष ने संसद को केवल हंगामें का अखाड़ा बना दिया है।
- जिससे करदाताओं के धन की क्षति हो रही है।
- कांग्रेस संसद में महत्वपूर्ण विधेयकों को पास होने से रोक रही है।
- जिससे संसद सत्र का भी नुकसान हो रहा है।