नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज आठ राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बैठक की और कोरोना वायरस के बदलते रूपों और उससे होने वाले खतरों को लेकर सचेत किया। इसके अलावा महामारी की संभावित तीसरी लहर से मुकाबले के लिए वैक्सीनेशन प्रक्रिया में तेजी लाने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा चलाए जा रहे ‘सबको वैक्सीन-मुफ्त वैक्सीन’ अभियान से देश के पूर्वोत्तर राज्यों को मदद मिलेगी।
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘हमें कोरोना वायरस के वेरिएंट्स पर नजर रखनी होगी। म्यूटेशन के बाद ये कितना जोखिम भरा हो सकता है इस बारे में विशेषज्ञों की राय और उनके अध्ययनों पर ध्यान देना होगा। ऐसे में एहतियात और उपचार आवश्यक है। कोरोना के कारण पर्यटन, व्यापार-कारोबार बहुत प्रभावित हुआ है।
16 जुलाई को होगी छह राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 16 जुलाई को देश के छ: राज्यों के मुख्यमंत्रियों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बातचीत करेंगे और संबंधित क्षेत्रों में कोरोना संक्रमण के हालात पर चर्चा करेंगे। यह बैठक 16 जुलाई की सुबह 11 बजे होगी। तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, ओडिशा, महाराष्ट्र, केरल के मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक करेंगे।
इसके बावजूद मैं बहुत जोर देकर कहूंगा कि हिल स्टेशनों, बाजारों में बिना मास्क पहने भारी भीड़ का उमड़ना चिंताजनक है। यह ठीक नहीं है।’ प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए हमें और सख्त कदम उठाने होंगे। इससे जिम्मेदारी तय हो सकती है। माइक्रो कंटेनमेंट क्षेत्र पर हमें पूरा फोकस करना होगा। पिछले डेढ़ साल के दौरान जो अनुभव हमें मिले हैं उसका भी पूरा इस्तेमाल करना होगा।’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को लेकर पूर्वोत्तर के आठ राज्यों असम, मेघालय, नागालैंड, त्रिपुरा, सिक्किम, मणिपुर, अरुणाचल प्रदेश और मिजोरम के मुख्यमंत्रियों के साथ बैठक कर की और वहां के हालात का जायजा लिया। बैठक के बाद प्रधानमंत्री ने कहा, ‘हमें टेस्टिंग और ट्रीटमेंट से जुड़े इंफ्रास्ट्रक्चर में सुधार करते हुए आगे चलना है। हाल ही में इसके लिए कैबिनेट ने 23,000 करोड़ रुपये का एक नए पैकेज को मंजूरी दी है। पूर्वोत्तर राज्यों में इस पैकेज से अपने हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करने में मदद मिलेगी।’