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शोधार्थियों को संख्या तकनिकी के साथ-साथ मूल शोध की अवधरणाओं पर भी ध्यान देना चाहिए- प्रो. वैशम्पायन

लखनऊ विश्वविद्यालय के आंतरिक गुणवत्ता आश्वासन प्रकोष्ठ द्वारा शोध में गुणवत्ता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से एक साप्तहिक कार्यशाला (19-24 सितम्बर 2022) का समापन समारोह आज ONGC भवन में हुआ। कार्यशाला के समापन समारोह की अध्यक्षता प्रोफेसर जेवी वैशम्पायन पूर्व कुलपति बुंदेलखंड विश्वविद्यालय द्वारा किया गया।

प्रोफेसर वैशम्पायन ने कहा, प्रतिभागियों को संख्या तकनिकी के साथ साथ मूल शोध की अवधरणाओं पर भी ध्यान देना चाहिए ताकि एक उत्तम शोध का उत्पादन हो। समापन समारोह का अंत प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र वितरण के पश्चात डॉक्टर नागेंद्र कुमार मौर्या द्वारा धन्यवाद् प्रस्ताव द्वारा हुआ।

प्रोफेसर राजीव मनोहर, निदेशक (आईक्यूऐसी) ने सभी अतिथितियों का स्वागत किया। उद्घाटन समारोह में प्रोफेसर गीतांजली मिश्रा, प्रोफेसर रोली मिश्रा, डॉक्टर अतुल श्रीवास्तव, डॉक्टर करुणा शंकर कनौजिया एवंम डॉक्टर शाम्भवी मिश्रा उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन डॉक्टर अनुपमा सिंह ने किया।

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