नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने पासपोर्ट जारी करने की प्रक्रिया को कई तरीकों से सरल बनाया है। पासपोर्ट नीति को आसान एवं उदार बनाने से भारतीय नागरिकों को काफी लाभ मिल रहा है। इस वर्ष अभी तक 2.9 करोड़ से अधिक भारतीयों ने विदेश यात्रा की है। यह बात विदेश राज्य मंत्री कीर्तिवर्धन सिंह ने गुरुवार को राज्यसभा में कांग्रेस सांसद शक्ति सिंह गोहिल द्वारा पासपोर्ट सेवाओं और विदेश यात्रा करने वाले भारतीयों से जुड़े सवाल का जवाब देते हुए कही।
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नागरिकों को मिल रहा सरल पासपोर्ट प्रक्रिया का लाभ
सरकार द्वारा पासपोर्ट सेवा को सरल एवं सुगम बनाने की जानकारी देते हुए राज्य मंत्री ने कहा कोई भी आवेदक भारत में कहीं से भी पासपोर्ट के लिए आवेदन कर सकता है। भले ही आवेदन पत्र में निर्दिष्ट वर्तमान आवासीय पता चयनित आरपीओ के अधिकार क्षेत्र में आता हो या नहीं। नागरिक ‘एम-पासपोर्ट सेवा’ मोबाइल ऐप पर भी आवेदन कर सकते हैं, भुगतान कर सकते हैं और अपॉइंटमेंट शेड्यूल कर सकते हैं।
डिजिलॉकर को पासपोर्ट सेवा कार्यक्रम (पीएसपी) प्रणाली के साथ सफलतापूर्वक एकीकृत किया गया है, जिससे नागरिक कागज रहित तरीके से डिजिलॉकर के माध्यम से पासपोर्ट सेवाओं के लिए आवश्यक विभिन्न दस्तावेज जमा कर सकते हैं।
विदेश राज्य मंत्री द्वारा राज्यसभा को प्रदान किए गए आंकड़ों से पता चलता है कि पिछले कुछ वर्षों के दौरान विदेश जाने वाले नागरिकों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। कोरोना काल के बीच 2020 में 7294,566 और 2021 में 85,51,315 भारतीय नागरिकों ने विदेश यात्रा की थी। हालांकि इसके बाद इस संख्या में तेजी से इजाफा हुआ और 2022 में 2,18,03,316, जबकि 2023 में 2,81,01,135 लोगों ने विदेश यात्रा की।
इस साल 8 दिसंबर तक 2,91,38,915 नागरिकों ने विदेश यात्रा की है। विदेश मंत्रालय के एक बयान के अनुसार इस वर्ष नवंबर 2024 तक देशभर के विभिन्न क्षेत्रीय पासपोर्ट कार्यालय (आरपीओ) को पासपोर्ट के लिए कुल 1,23,65953 आवेदन मिले, जबकि इस दौरान कुल 1,18,48623 पासपोर्ट जारी किए गए।
रिपोर्ट-शाश्वत तिवारी