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छात्रों को डिजिटल लर्निंग अपनाने में मिलेगी मदद, विद्या प्रकाशन मन्दिर ने विद्याकुल के साथ हाथ मिलाया

लखनऊ। महामारी कोविड के इस दौर में उत्तर प्रदेश के छात्रों को बुनियादी स्कूली शिक्षा के साथ उनकी परीक्षा में तैयारियों में मदद के साथ निःशुल्क ऑनलाईन डिजिटल कक्षाओं के एक्सेस करने की सुविधा दी जायेगी, इसके लिये छात्रों को ऑनलाईन लर्निंग अपनाने में भी मदद मिलेगा। जिसमें विद्या प्रकाशन मंदिर की किताबों तथा बोर्ड परीक्षा की तैयारी के लिए प्रमाणित संसाधनों पर आधारित होंगी। छात्रों को दी जाने वाली इन तमाम सुविधाओं के लिये विद्या प्रकाशन मन्दिर के डिजिटल वेंचर ई विद्या ने विद्याकुल के साथ हाथ मिलाया है। यूपी पढ़ता रहे, आगे बढ़ता रहे पहल के लांच के लिये हुये हुयी इस साझेदारी ऐसे वक्त हुयी है जब महामारी के चलते क्षेत्रीय शिक्षा पर बुरा असर पड़ा है क्योंकि छात्रों के पास ऑनलाईन शिक्षा के लिए उचित संसाधन उपलब्ध नहीं हैं।
इसी समस्या को ध्यान में रखते हुए ईविद्या और विद्याकुल ने उत्तर प्रदेश के छात्रों को ऑनलाईन लर्निंग में सहयोग प्रदान करने के लिए एक दूसरे के साथ हाथ मिलाया है। यह साझेदारी तीसरे और चौथे स्तर के शहरों के छात्रों की शिक्षा में सहयोग प्रदान करेगी, उनके लिए गुणवत्तापूर्ण, किफ़ायती शिक्षा संसाधनों को सुलभ बनाएगी जिससे वे लम्बे समय से वंचित हैं। इससे उन्हें अपनी पढ़ाई जारी रखने और आगे बढ़ने का मौका मिलेगा। ईविद्या और विद्या प्रकाशन मंदिर की 40 वर्ष की उत्कृष्टता तथा विद्याकुल का स्वदेषी दृष्टिकोण एवं मार्गदर्शन छात्रों को मौजूदा स्थिति से निपटने में मदद करेगा और वे ऑनलाईन कक्षाओं में हिस्सा लेकर अपने भविष्य के लिए बेहतर तैयारी कर सकेंगे।
कोविड-19 महामारी और इसके कारण एक साल तक चले लॉकडाउन की वजह से ग्रामीण छात्रों को पढ़ाई के ऑनलाईन समाधान एवं ई-लर्निंग को अपनाना पड़ा, किंतु गांवों में सिर्फ 10 फीसदी स्थानीय एवं क्षेत्रीय स्कूल ही ऑनलाईन शिक्षा को अपना पाए। इसी समस्या को ध्यान में रखते हुए ई-विद्या और विद्याकुल कक्षा 9-12 के छात्रों को बोर्ड एवं अन्य परीक्षाओं के लिए घर बैठे विज्ञान एवं गणित की तैयारी में मदद करेंगे। वे बिना किसी षुल्क के इंटेलीजेन्ट एवं स्मार्ट अध्ययन सामग्री का लाभ उठा सकेंगे। कोविड संकट को देखते हुए तीसरे और चौथे स्तर के षहरों के छात्रों को ऑनलाईन शिक्षा के साधन उपलब्ध कराना अनिवार्य हो गया है। इस संकट के कारण छात्रों की शिक्षा में बड़ी खामियां आ गई हैं, क्योंकि उनके पास ऑनलाईन शिक्षा के लिए बुनियादी साधन उपलब्ध नहीं हैं। डिजिटल भारत अभियान के प्रभाव में, ये शैक्षणिक मंच ग्रामीण छात्रों के लिए उज्जवल भविष्य का मार्ग प्रशस्त कर रहे हैं।
तरूण सैनी, सह-संस्थापक एवं सीईओ, विद्याकुल ने कहा, हम भारत के लिए ऑनलाईन स्कूल हैं और यह देखना हमारा कर्तव्य है कि छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिल रही है या नहीं। महामारी के चलते यूपी के छात्रों पर बुरा प्रभाव पड़ा है, क्योंकि उनके पास ऑनलाईन साधन एवं किताबें उपलब्ध नहीं हैं। छात्रों की इसी समस्या को दूर करने के लिए हमने विद्या प्रकाशन के साथ साझेदारी का फैसला लिया, ताकि उन्हें किताबों के लाईव डिजिटल समाधान उपलब्ध कराए जा सकें और वे परीक्षाओं के लिए बेहतर तैयारी कर सकें।
इन्द्रवीर सिंह, सीईओ, ई-विद्या ने कहा, हमारी मूल कंपनी विद्या प्रकाशन पिछले चार दशकों से उत्तर प्रदेश के छात्रों को जांचे-परखे और निश्चित रूप से सफलता दिलाने वाले अकादमिक संसाधन एवं किताबें मुहैया करा रही है। शिक्षा समुदाय के लिए इन सेवाओं को जारी रखते हुए, हमें विद्याकुल के साथ साझेदारी की घोषणा करते हुए बेहद खुशी का अनुभव हो रहा है। विद्याकुल इस क्षेत्र में अग्रणी है और हमारी पहल ‘यूपी पढ़ता रहे, आगे बढ़ता रहे’ में योगदान दे रहा है। यूपी के छात्रों की शिक्षा पर महामारी का बुरा असर हुआ है और इसी को ध्यान में रखते हुए हमें विद्याकुल के साथ साझेदारी करने और अपनी पुस्तकों के लिए निःशुल्क लाईव समाधान उपलब्ध कराने का फैसला लिया ताकि वे परीक्षाओं के लिए बेहतर तैयारी कर सकें।

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