आगरा में हुए जनरथ बस हादसे को 48 घंटे से अधिक बीत चुके हैं। 30 लोगों की मृत्यु हो गई है तो दो की हालत अभी भी गंभीर बनी हुई है। भिन्न-भिन्न स्तर पर हादसे की जाँच रिपोर्ट भी आ चुकी है। बस की ओवर स्पीड व ड्राइवर को झपकी आने की बात सामने आ रही है।
मृतकों की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट भी आ चुकी है। 17 यात्रियों की मृत्यु सिर में गंभीर चोट लगने की वजह से हुई है। वहीं मरने वालों में 12 यात्री ऐसे हैं जिन्हें इस तरह की कोई गंभीर चोट नहीं लगी है जिससे मृत्यु हो सके, लेकिन जिस तरह से उनकी मृत्यु की वजह सामने आई है वो खासी दहलाने वाली है।
आगरा के एसएन अस्पताल में सभी मृतकों का पोस्टमॉर्टम किया गया था। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के अनुसार 12 यात्रियों की मृत्यु दम घुटने व पेट में पानी भरने से हुई है। उनके शरीर पर लगी चोट ऐसी नहीं थी कि जिससे उनकी मृत्यु हो सके। यह वो लोग थे जो मौके पर दम तोड़़ चुके यात्रियों के बीच फंसे हुए थे।
शरीर पर लगे निशान व पेट में पानी भरने की कहानी बताती है कि इन्हें हाथ-पैर चलाने तक का मौका नहीं मिला। यह लोगों के बीच में बुरी तरह से फंसे हुए थे। 12 यात्रियों में से कुछ ऐसे भी थे जो जल्दी ही बेहोश हो गए थे व बाद में धीरे-धीरे नाले का गंदा पानी उनके पेट में भर गया।
पोस्टमॉर्टम करने वाले चिकित्सक बताते हैं कि अगर इन 12 लोगों को ज़रा सी भी सांस लेने का मौका मिल जाता तो इनकी मृत्यु नहीं होती। बस की खिड़कियों के शीशे बंद होने से भी इन्हें बाहर की हवा नहीं मिली। वर्ना बस का जो भाग नाले में नहीं डूबा था वहां से उन्हें सांस लेने के लिए हवा मिल सकती थी।