भारत-चिली संबंधों की विशेषता गर्मजोशी, मित्रता और विभिन्न मुद्दों पर विचारों की समानता है। चिली में भारत का निर्यात 2009 से बढ़ रहा है, 2014 में मामूली कमी को छोड़कर, जब चिली में डीजल वाहनों पर नए कार्बन टैक्स ने भारत से मोटर वाहन निर्यात पर प्रतिकूल प्रभाव डाला था, लेकिन इस क्षेत्र में बड़ी रिकवरी देखी गई है। भारत और चिली के बीच एक समझौता ज्ञापन पर हाल ही में फरवरी 2023 में कैबिनेट ने कृषि और संबद्ध क्षेत्रों में सहयोग के लिए हस्ताक्षर करने को मंजूरी दी गयी थी।
👉पुलिस के ‘चक्रव्यूह’ तोड़ने वाले को मिलेगा 1 लाख का इनाम, गोरखपुर पुलिस ने रखी अनोखी प्रतियोगिता
विदेश मंत्रालय के सचिव (आर्थिक संबंध) दम्मू रवि ने चिली के वाणिज्य सचिव सेबेस्टियन गोमेज़ के नेतृत्व में एक व्यापार प्रतिनिधिमंडल के साथ बैठक में व्यापार टोकरी, निवेश के अवसरों और विनिमय में विविधता लाने से संबंधित चिंताओं पर चर्चा की। गौरतलब है कि पिछले महीने ही भारत-लैटिन अमेरिका कॉन्क्लेव का भी आयोजन किया गया था।
विदेश मंत्रालय के आधिकारिक प्रवक्ता अरिंदम बागची ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर कहा सचिव (ईआर) दम्मू रवि ने आज चिली के वाणिज्य सचिव सेबेस्टियन गोमेज़ के नेतृत्व में एक व्यापार प्रतिनिधिमंडल के साथ बैठक की। चर्चा में व्यापार टोकरी में विविधता लाने से संबंधित मामलों को शामिल किया गया। निवेश के अवसर और व्यापारिक प्रतिनिधिमंडलों का आदान-प्रदान भी किया गया।
इस साल की शुरुआत में मार्च में भारत और लैटिन अमेरिकी देश चिली ने 8वें विदेश कार्यालय परामर्श में क्षेत्रीय और बहुपक्षीय मुद्दों पर विचारों का आदान-प्रदान किया। विदेश मंत्रालय के सचिव (पूर्व) सौरभ कुमार ने चिली की विदेश नीति के महासचिव एलेक्स वेटज़िग अब्देल के साथ व्यापार, तकनीक, नवीकरणीय, अंतरिक्ष, खनन और शिक्षा सहित व्यापक क्षेत्रों में सहयोग पर भी चर्चा की। चिली के राजदूत ने विदेश मंत्री एस जयशंकर से भी मुलाकात की जिन्होंने द्विपक्षीय राजनीतिक और आर्थिक सहयोग को तेज करने पर चर्चा की।
रिपोर्ट-शाश्वत तिवारी