अहमदाबाद। पेप्सिको इंडिया कंपनी ने गुजरात के कुछ किसानों पर मुकदमा ठोक दिया है। उन्होंने किसानों पर आलू की एक खास किस्म की खेती का आरोप लगाया है। Pepsico पेप्सिको द्वारा मामला दर्ज करवाने के बाद 190 से अधिक कार्यकर्ताओं ने केंद्र सरकार को पत्र भेजकर अनुरोध किया है कि वह कंपनी को किसानों के खिलाफ दर्ज इन ‘झूठे’ मामलों को वापस लेने का निर्देश दे।
Pepsico ने दावा किया कि
पेप्सिको Pepsico ने दावा किया है कि आलू की किस्म एफसी-5 की खेती और बिक्री पर साल 2016 में देश में विशेष अधिकार हासिल किया था। कंपनी इस किस्म के आलू से चिप्स के ब्रांड लेज का निर्माण करती है।
साबरकांठा और अरावली जिलों के नौ किसानों को कथित रूप से आलू उगाने के लिए पेप्सिको द्वारा अदालत में घसीटा गया है, जिसके लिए उन्होंने प्लांट वैरायटी प्रोटेक्शन अधिकारों का दावा किया है। जिन किसानों पर आरोप लगाए गए हैं, वे छोटे किसान हैं और उनके पास केवल तीन-चार एकड़ की भूमि है। पेप्सिको ने प्रोटेक्शन ऑफ प्लांट वैरायटीज एंड फार्मर राइट एक्ट, 2001 के सेक्शन 64 के तहत अधिकारों के उल्लंघन का मामला दर्ज किया है।
वहीं किसान संगठनों ने इसी अधिकार के सेक्शन 39 के तहत अपना बचाव किया है। एक्ट के सेक्शन 39 में कहा गया है कि ब्रांडेड बीजों को छोड़कर एक्ट किसानों को पंजीकृत बीजों और फसलों को बचाने, दोबारा बुवाई, बांटने और बेचने की छूट देता है।
इस बहुराष्ट्रीय कंपनी ने अहमदाबाद की एक अदालत में चार किसानों से 1-1 करोड़ के हर्जाने की मांग की है और मोदसा में जिला अदालत में प्रत्येक किसानों से 20 लाख का हर्जाना मांगा है। अहमदाबाद कोर्ट इस मामले में 26 अप्रैल को सुनवाई करेगा।