गोरखपुर। इन्सेफेलाइटिस के कहर से जिन्दगी की जंग लड़ रहे मासूम बच्चों को बचाने का दावा कैम्पियरगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र मे खोखला साबित हो रहा है। मामला कही और का नहीं बल्कि सीएम योगी के गढ़ गोरखपुर का है जहां इन्सेफेलाइटिस से पीड़ित दो बच्चों का इलाज चार घन्टे के बाद इलाज शुरू हुआ। इन्सेफेलाइटिस वार्ड के बेड पर बेसुध पड़ी घंटों तक जैसे की तैसे पड़ी रही, परीजन परेशान थे। और स्वास्थ्य महकमा नदारद था।
– इन्सेफेलाइटिस लक्षण से पीड़ित राजपुर निवासी 5 वर्षीय विनीत और हरपुर गांव के मेथौली टोला के 8 वर्षीय अमन को लेकर इनके परीजन आज सुबह 8 बजे से पहले ही कैम्पियरगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पहुंच गए थे।
– लेकिन अस्पताल मे कोई डॉक्टर मौजूद नही था ।
– दोपहर 12 बजे तक अस्पताल का कोई भी डॉक्टर या फार्मासिस्ट इन बच्चों को देखने नही गया।
– बच्चों की पीड़ा से परेशान परीजन अस्पताल मे डॉक्टर से लेकर फार्मासिस्ट का चक्कर काटकर सिफारिश करते रहे।
– 12 बजे के बाद फार्मासिस्ट ने इन बच्चों के खुन का सेम्पल लिया। इसकी रीपोर्ट आने के बाद इलाज शुरू हुआ।
इन्सेफेलाइटिस वार्ड मे डॉक्टर, फार्मासिस्ट, वार्ड वाय व स्वच्छक की 24 घन्टे तैनात रहने का आदेश है मगर समुचित इलाज व्यवस्था कैम्पियरगंज सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में खोखला साबित हो रहा हैं।