रेलवे में नौकरी की तैयारी कर रहे युवाओं के लिए बड़ी खबर है. दरअसल, रेलवे (Railway) में भर्ती (Recruitment) के लिए अब संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) परीक्षा का आयोजन कराएगा. गुरुवार को रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष वी. के. यादव ने इस बारे में जानकारी दी. यादव ने बताया कि रेलवे में अब से सभी नई भर्तियां यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा के माध्यम से पांच विशेषज्ञताओं के तहत कराई जाएंगी.
जिसके तहत रेलवे में नौकरी करना का सपना देख रहे अभ्यर्थियों को पहले यूपीएससी की सिविल सेवा परीक्षा की तरह ही प्री एग्जाम (प्राथमिक परीक्षा) देना होगा. इस परीक्षा के बाद उम्मीदवार पांच विशेषज्ञताओं के तहत आईआरएमएस को चुन सकते हैं. इन पांच विशेषज्ञताओं में से तकनीकी के तहत इंजीनियरिंग, सिविल, मैकेनिकल, टेलीकॉम और इलेक्ट्रिकल के और एक गैर-तकनीकी होगा.
वहीं गैर-तकनीकी में लेखा, कार्मिक और यातायात क्षेत्र की नियुक्तियां होंगी. वी.के यादव के मुताबिक, इसकी विस्तृत रुपरेखा तैयार की जाएगी, हालांकि फिलहाल अभ्यर्थियों को प्राथमिक परीक्षा देनी होगी उसके बाद उन्हें अपनी पसंद चुननी होगी. इसके साथ ही उन्हें आईआरएमएस परीक्षा में शामिल होने का भी विकल्प दिया जाएगा.
रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष का कहना है कि, हम पांच विशेषज्ञताओं के तहत भर्ती को स्पष्ट करते हुए उसका मांगपत्र भेजने वाले हैं. इनमें चार इंजीनियरिंग के हैं और एक गैर इंजीनियरिंग. जिनमें से गैर इंजीनियरिंग वाले में कला संकाय के लोग नियुक्ति पा सकते हैं. यादव का कहना है कि, 35 साल का अनुभव रखने वाले भारतीय रेलवे सेवा के अधिकारी ही अध्यक्ष/सीईओ नियुक्त किए जाएंगे.
उन्होंने यह भी कहा कि सेवाओं के विलय का फैसला इसलिए लिया गया है, ताकि अधिकारी रेलवे को अपनी सेवाओं से पहले रखें. जबकि मौजूदा प्रणाली में अधिकारियों के लिए उनकी सेवाएं रेलवे से ज्यादा महत्वपूर्ण हो गई थीं. बता दें कि कैबिनेट ने इसी सप्ताह आठ सेवाओं का विलय कर उन्हें भारतीय रेलवे प्रबंधन सेवा बना दिया है.