अतीक अहमद और अशरफ की हत्या की कहानी अभी उलझी हुई है। तीनों हत्योरोपित भले ही पकड़े लिए गए लेकिन अभी कई सवालों के जवाब नहीं मिले हैं। न तो हत्याकांड के साजिशकर्ता का खुलासा हुआ और न ही ये पता चला है कि किसने तुर्किए की पिस्टल इन तीनों हमलावरों को दी थी। एसआईटी के पास रविवार शाम पांच बजे तक का समय है। पांच बजे से पहले पूछताछ कर तीनों को प्रतापगढ़ जेल भेजना है।
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कस्टडी बढ़ाने की दे सकती है अर्जी बताया जा रहा है कि एसआईटी की जांच में अगर सारे सवालों के जवाब नहीं मिले तो रविवार को रिमांड की अवधि बढ़ाने के लिए एसआईटी कोर्ट में अर्जी देगी। इस बात की संभावना है कि तीनों की निशानदेही पर एसआईटी कुछ और बरामद करा सकती है। अभी तक एसआईटी को सिर्फ दो मोबाइल ही मिले हैं। जिनकी छानबीन चल रही है।
अतीक अहमद और अशरफ की हत्या के आरोप में सनी सिंह, अरुण मौर्या और लवलेश तिवारी पकड़े गए थे। एसआईटी ने कोर्ट के आदेश पर तीनों को पुलिस कस्टडी रिमांड पर पूछताछ के लिया है। कोर्ट ने रविवार शाम पांच बजे तक की ही कस्टडी रिमांड दी थी। बताया जा रहा है कि अभी तक रिमांड की मियाद नहीं बढ़ी है। पिछले चार दिन से तीनों आरोपितों से पूछताछ चल रही है।
एसआईटी के अलावा एसटीएफ और एटीएस भी पूछताछ कर चुकी है। माफिया, गैंग की मिलीभगत के अलावा तीनों शूटरों के मददगारों के बारे में भी जानकारी करने की कोशिश की गई। यह भी छानबीन चली कि कहीं किसी ने इनका माइंडवॉश कर इस वारदात को अंजाम तो नहीं दिलाया है।
एसआईटी ने तीनों के बारे में जानकारी एकत्र करने के लिए उनके गृह जनपद पुलिस टीम भेजी थी। इसके अलावा इनके पास से बरामद दोनों मोबाइल की डिटेल मंगाई गई है। तीनों के आपराधिक इतिहास की मदद से पुराने गैंग से संपर्क के बारे में पूछताछ की गई।