श्रीनगर। सेना की 15वीं कोर के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल एके बट ने Kashmir के नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर आगामी दिनों में घुसपैठ की कोशिशों में वृद्धि की आशंका जताई है। उन्होंने कहा कि उत्तरी कश्मीर में लोग आतंकियों को शरण नहीं देते, वे उनकी असलियत को समझ चुके हैं।
दक्षिण Kashmir के लोगों को
दक्षिण कश्मीर Kashmir के लोगों को भी उत्तरी कश्मीर के लोगों से सबक लेना चाहिए। केरन में सेना की ओर से आयोजित 15 दिवसीय केरन मेले के समापन समारोह में एके बट पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि इस समय कश्मीर के भीतरी इलाकों में 300 आतंकी सक्रिय हैं।
आतंकियों को पकड़ने और मार गिराने के लिए लगातार अभियान चलाए जा रहे हैं। सोपोर में हाल ही में एक ग्रामीण को आतंकियों द्वारा मौत के घाट उतारे जाने की घटना के संदर्भ में उन्होंने कहा कि दक्षिण कश्मीर की अपेक्षा उत्तरी कश्मीर शांत और लगभग सामान्य है।
लोग आतंकियों और पाकिस्तान के मंसूबों को अच्छी तरह समझ चुके हैं। इसलिए आतंकी लोगों में भय पैदा करने के लिए मासूमों को अगवा कर मौत के घाट उतार रहे हैं। समग्र तौर पर देखा जाए तो अब आतंकी हिसा में लगातार कमी आ रही है। दक्षिण कश्मीर में भी हालात सुधर रहे हैं। दक्षिण कश्मीर के लोगों को उत्तरी कश्मीर के लोगों की तरह आतंकियों की मदद नहीं करनी चाहिए। सुरक्षाबलों ने हमेशा आतंकियों को नाकाम बनाया है और भविष्य में भी हम उन्हें कामयाब नहीं होने देगे।
आतंकी संगठनों में
सेना की 15वीं कोर के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल एके बट ने आतंकी संगठनों में स्थानीय युवकों की लगातार बढ़ती भर्ती को सभी सुरक्षा एजेंसियों के लिए बड़ी चुनौती बताया। उन्होंने कहा कि हमारा मुख्य एजेंडा आतंकियों का सफाया और स्थानीय युवाओं को मुख्यधारा के साथ जोड़ सम्मानजनक जिदगी जीने का मौका देना है।
चुनावों में आतंकी किसी तरह का खलल न पैदा कर सकें इसके लिए राज्य पुलिस, सीआरपीएफ, सेना व अन्य सुरक्षा एजेंसियां मिलकर आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई कर रही हैं। सरहद पार से घुसपैठ के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि हमारी सूचना के मुताबिक, उत्तरी कश्मीर में एलओसी के पार स्थित लांचिग पैडों पर करीब 250 आतंकी घुसपैठ के लिए तैयार हैं। पाकिस्तानी सेना इसमें उनकी मदद कर रही है। आने वाले दिनों में एलओसी पर घुसपैठ के प्रयासों में वृद्धि की आशंका है।