लखनऊ से लगभग 250 किलोमीटर दूर जनजाति अंचल में थारू जनजाति के महिला, पुरुष, युवाओं के साथ मानव विज्ञान विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय एवं भाउराव देवरस शोध पीठ, लखनऊ विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वाधान में 72 चिन्हित परिवारों को उद्यमिता विकास हेतु मछली पकड़ने के जाल, बीज, जैविक खाद, मिष्ठान आदि वितरित किए गए।
माननीय कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने कहा कि आज विश्वकर्मा जयंती है, जो कामगारों के उपकरणों के देवता है। यह जनतंत्र को अधिक व्यापक बनाने का पर्व है। प्रधानमंत्री जी लगातार जनजातियों के योगदान की स्वीकृत बढ़ाने का प्रयास कर रहे हैं और यह समीचीन है कि उनके जन्मदिवस को हम “जनजातीय उद्यमिता विकास” द्वारा मनाएं। थारू जनजाति एक मेहनतकश कृषि प्रधान जनजाति है। यहां के स्त्री-पुरुष हथकरघा मत्स्य-पालन एवं कृषि से जीविकोपार्जन करते हैं। कुलपति जी ने जनजाति सदस्यों को ऊर्जावान होने पर बधाई दी और विशेष रूप से निस्वार्थ सेवा करने वाले को निर्विरोध प्रधान व ग्रामीण महिलाओं को सम्मानित करने पर साधुवाद दिया।
कुलपति ने कहा कि आज हम ऊर्जावान प्रधानमंत्री के जन्मदिन पर ऊर्जावान संस्थान की तरफ से ऊर्जावान लोगों के बीच माननीय प्रधानमंत्री का जन्मदिन मनाने आए हैं। मत्स्य विभाग द्वारा प्रशिक्षण, स्थानीय थारू कलाकारों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम एवं बालिकाओं द्वारा पीएम मोदी के पोस्टरों का प्रदर्शन इस कार्यक्रम की विशेषता रही। इसके बाद कुलपति दुस्कियां गांव गए और वहां बच्चों को मिठाई, टॉफी और बिस्कुट आदि वितरित किए।
इस कार्यक्रम में कुलपति की धर्मपत्नी श्रीमती संगीता राय, उनकी पुत्री रितान्या, कार्यक्रम की समन्वयक एवं मानव विज्ञान की हेड डॉ. केया पाण्डेय, भाऊ राव देवरस शोध पीठ के प्रो. सोमेश शुक्ल, डीन स्टूडेंट वेलफेयर प्रो. पूनम टंडन, डीन अकेडमिक्स प्रो. राकेश चंद्रा, डीन कॉलेज डेवलपमेंट कौंसिल प्रो. अवधेश त्रिपाठी, हेड एमबीए प्रो. संगीता साहू, प्रॉक्टोरियल टीम के सदस्य एवं विभिन्न ग्राम सभाओं के अनेक प्रतिभागियों ने इस क्षेत्र में प्रधानमंत्री का जन्म दिवस मनाया।