इस मौके पर आंगनबाड़ी कार्यकत्री संपूर्णा त्रिपाठी ने कहा कि कुपोषण बीमारियों की जड़ है इसलिए कुपोषण से बचाव के लिए सभी लोगों को जागरूक होने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि कंजर्वेशन विभाग के समन्वय एवं समेकित प्रयासों से पोषण आधारित जीवन चक्र के महत्वपूर्ण चरणों गर्भावस्था शैशवावस्था बचपन एवं किशोरावस्था के पोषण के संबंध में विशेष जागरूकता के लिए प्रयास किया जा रहे हैं।
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इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य बच्चों के पोषण स्तर में सुधार लाना और भावनात्मक जुड़ाव पैदा करना है। इस स्पर्धा में आंगनबाड़ी कार्यकत्री सम्पूर्णा त्रिपाठी ने उन बच्चों को पुरस्कृत किया जिन बच्चों का वजन एवं लम्बाई जांच में सही मिली, छः माह तक सिर्फ मां का दूध पिया हो, नियमित टीकाकरण हुआ हो। ऐसे पांच बच्चों पूर्वी पुत्री सुशील कुमार, खुशी पुत्री देवेश कुमार, हर्षदीप पुत्र आदेश कुमार एवं काव्या पुत्री योगेश सिंह को उपहार देकर सम्मानित किया।
पोषण माह के तहत रेसिपी प्रतियोगिता पर पोषण शपथ, स्वस्थ बालक बालिका स्पर्धा, गर्भवती महिलाओं की गोद भराई, 6 माह पूर्ण कर चुके बच्चों का अन्नप्राशन, पोषण रैली, पोषण रंगोली के कार्यक्रम भी पूरे सितंबर माह में आंगनबाड़ी केंद्रों पर आयोजित किए जाएंगे। बताया गया कि सभी लोगों को चाहिए कि वह जिले को कुपोषण मुक्त करने के लिए लोगों को जागरूक करने में योगदान दें। इस कार्यक्रम के मौके पर प्राथमिक विद्यालय ऐली के प्रधानाध्यापक श्रीपति दुबे, सरला देवी, रेखा देवी, विट्टन देवी, रन्नो देवी, मंजू, पूजा, सीमा, लक्ष्मी, मेधा, सुषमा देवी एवं सपना सिंह आदि प्रमुख लोगों के साथ भारी संख्या में गर्भवती धात्री महिलाएं व स्कूली बच्चे मौजूद थे।
रिपोर्ट – संदीप राठौर चुनमुन