दो पहाड़ी राज्यों में बादल फटने से आफत मच गई। हिमाचल प्रदेश के शिमला और कुल्लू जिले में बादल फटने की घटना में तीन लोग लापता हो गए। शिमला में भूस्खलन की चपेट में आकर दो लोगों की मौत हो गई।
हिमाचल प्रदेश के कई क्षेत्रों में शुक्रवार देर रात से भारी बारिश हो रही है। शिमला जिला के कोटखाई की बाग डुमैहर पंचायत में एक मकान भूस्खलन की जद आने से नेपाली मूल के दो व्यक्तियों को मौत हो गई। वहीं रोहड़ू में देर रात एक बजे बादल फटने से लैला खड्ड ने खूब कहर बरपाया और ढाबे सहित एक मकान बाढ़ में बह गया। इस हादसे में एक ही परिवार के तीन लोग लापता हैं।
अभी इनका कोई सुराग नहीं लग पाया। बादल फटने की घटना के बाद पूरे गांव में रातभर अफरा-तफरी का माहौल रहा। बताया जा रहा है कि जगोटी निवासी रोशन लाल उनकी पत्नी भागा देबी लैला में ढाबा चलाते थे। बीती रात उनका पोता कार्तिक भी उनके साथ में था। रात में लैला खड्ड में आई बाढ़ में ढाबा और उसके साथ उनका कमरा भी बह गया। पुलिस और स्थानीय प्रशासन राहत व बचाव कार्य में जुटा हुआ है। राज्य के कई क्षेत्रों में भी भारी बारिश से खूब नुकसान हुआ है। कुल्लू की गड़सा घाटी में बादल फटने से नाले में बाढ़ आ गई। भूस्खलन से खोड़ागे गांव के दो दर्जन से ज्यादा मकान खाली कराए गए।
लद्दाख में भी बादल फटने से अचानक आई बाढ़ के कारण मुख्य बाजार में मलबा भर गया। उधर गुजरात के दक्षिण हिस्से और सौराष्ट्र क्षेत्र के कई जिलों में भारी बारिश होने से बांधों और नदियों में जलस्तर खतरे के निशान तक पहुंच गया। जूनागढ़ में कई कारें और मवेशी पानी की तेज धार में बह गए। वहीं महाराष्ट्र के यवतमाल में बाढ़ के कारण फंसे लगभग 110 लोगों को शनिवार को बचा लिया गया। इसके लिए वायुसेना के हेलीकॉप्टर की मदद ली गई।